आपने अक्सर देखा होगा कि भारत के करेंसी नोट का कागज थोड़ा अलग होता है।

ये नोट कॉटन और लिनन से बने 'पेपर' से तैयार होते हैं।

कागज के नोट ज्यादा लंबे समय के लिए नहीं चलते, इसलिए RBI नोट बनाने के लिए कपास का इस्तेमाल करता है।

कपास और लिनन जैसे फाइबर्स को विशेष तकनीकों से प्रोसेस किया जाता है।

क्यूंकि ये पेपर अधिक मजबूत और टिकाऊ होता है।

भारत में बनने वाले नोटों में सिक्योरिटी फीचर दिए जाते हैं।

जैसे वॉटरमार्क, सिक्योरिटी थ्रेड, इंक का बदलाव, एम्बॉस्ड प्रिंटिंग, आदि।

इन सिक्योरिटी फीचर से ही असली और नकली नोट की पहचान भी की जाती है।

सुरक्षा कोड के तौर पर मेटल की जगह प्लास्टिक थ्रेड का इस्तेमाल किया जाता है।

खुद का SWOT analysis कैसे करें?

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