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शायद ह्यूज मुझे इस समय 'रोंदू' बुला रहे होंगे : क्लार्क

हमें फॉलो करें शायद ह्यूज मुझे इस समय 'रोंदू' बुला रहे होंगे : क्लार्क
, बुधवार, 3 दिसंबर 2014 (17:14 IST)
मैक्सविले। 'इस समय यदि ह्यूज मुझे देख रहे होंगे तो निश्चित ही वह मुझे रोंदू (क्राई बेबी) बुला रहे होंगे। हर समय मुझे यह अहसास हो रहा है कि वह किसी कोने से मेरे पास आ जाएंगे।' अपने दोस्त फिलिप ह्यूज के अंतिम संस्कार के दौरान कुछ इस तरह से ऑस्ट्रेलियाई कप्तान माइकल क्लार्क ने व्यक्त की अपनी भावनाएं। 
      
खास दोस्त और साथी खिलाड़ी की जिंदगी की दो दिन तक चली जंग से लेकर उनके दो गज जमीन में समा जाने तक क्लार्क ने ह्यूज का साथ नहीं छोड़ा। कई मौकों पर फूटफूट कर रो पड़े क्लार्क जब मैक्सविले स्कूल हाल में ह्यूज के अंतिम संस्कार के मौके पर मौजूद हजारों की भीड़ को संबोधित कर रहे थे तब भी उनकी भावनाओं का बांध टूट पड़ा। 
     
बेहद भावुक क्लार्क ने 25 वर्षीय बल्लेबाज की अंत्येष्टि में ह्यूज के लिए अपनी भावनाओं को व्यक्त करते हुए कहा ओह.. शायद इस समय ह्यूज देख रहे होंगे तो वह मुझे रोंदू बुला रहे होंगे जो लगातार रो रहा है। मैं जानता हूं कि यह अजीब है लेकिन हर पल मुझे एहसास हो रहा है कि वह किसी कोने से बाहर निकलकर आएंगे और मुझे आवाज देंगे। 
      
क्लार्क ने कहा शायद इसी को आत्मा कहते है। यदि ऐसा होता है तो ह्यूज की आत्मा हमेशा मेरे साथ रहेगी और मैं उम्मीद करता हूं कि वह कभी मेरा साथ नहीं छोड़ेगी। ह्यूज का 27 नवंबर को सिडनी क्रिकेट ग्राउंड में मैच के दौरान सिर पर गेंद लगने से निधन हो गया था।
 
33 वर्षीय क्लार्क ने न्यू साउथ वेल्स में उनके गृहनगर मैक्सविले में ह्यूज के पिता और भाईयों के साथ मिलकर अपने दोस्त की अर्थी को कंधा दिया। ह्यूज की मौत के दिन सिडनी क्रिकेट ग्राउंड में अपने दौरे का जिक्र करते हुए ऑस्ट्रेलियाई कप्तान ने कहा मैं घुटने के बल झुका और मैंने घास को छूआ। मैं कसम खाता हूं कि ह्यूज वहीं थे। 
      
घरेलू क्रिकेट से ह्यूज को अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट का हिस्सा बनने में अहम भूमिका निभाने वाले क्लार्क ने कहा ह्यूज ने मुझे उठा लिया और देखा कि क्या मैं ठीक हूं या नहीं। फिर मैच के बारे में बात करते हुए कहा कि हमें चायकाल तक टिककर रन बनाने होंगे। ह्यूज ने फिर मुझे मेरे खराब शॉट के बारे में कहा और फिर हम उस रात कौनसी फिल्म देखेंगे यह बातें करने लगे। अचानक हमारी बातों का विषय बदला और हम गायों के बारे में बेफिजूल की चर्चा करने लगे। 
 
अपने साथी खिलाड़ी की बात करते हुए नम आंखों के साथ क्लार्क ने उस रात ह्यूज की आत्मा के साथ बिता पलों को याद करते हुए कहा हमारी बातों के बाद मैंने ह्यूज को दूसरे छोर पर जाते और गेंदबाज पर हंसते हुए देखा। उन्होंने इतनी जोर की आवाज में मुझसे रन लेने को कहा कि उस आवाज को कार पार्किंग में खड़ा कोई व्यक्ति भी उन्हें सुन सकता था। (वार्ता)

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