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हाफिज़ सईद से बंदूकों के साये में मिला - वेद प्रताप वैदिक

वो पाक प्रधानमंत्री से भी कड़ी सुरक्षा में रहता है

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इन्दौर , शनिवार, 16 अगस्त 2014 (22:08 IST)
मुंबई में हुए आतंकी हमलों का जिम्मेदार मोस्ट वॉन्टेड आतंकी हाफिज़ सईद से इस साल जुलाई माह में मुलाकात के बाद विवादों में आए ‍वरिष्ठ पत्रकार और विदेशी मामलों के जानकार डॉक्टर वेद प्रताप वैदिक ने कहा कि हाफिज़ सईद से मुलाकात में जोख़िम भी था।

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डॉक्टर वैदिक ने कहा कि उसका पता वहां सबको मालूम है। वहां के पत्रकार उससे फ़ोन पर बात करते हैं। लेकिन वह प्रधानमंत्री से भी कड़ी सुरक्षा में रहता है । डॉक्टर वैदिक ने कहा कि सईद से मुलाकात बंदुकों के साये में हुई।

वेबदुनिया के साथ खास बातचीकरते हुए डॉक्टर वैदिक ने ने बताया कि वे किस तरह मोस्टवॉन्टेड आतंकी हाफिज़ सईद से मिले और किस तरह बंदूकों के साए में उन्होंने हाफिज़ सईद से बात की।

पहले भी हो चुका है सईद से सामना : हाफिज़ सईद से डॉक्टर वैदिक का सामना पहले भी हो चुका है। डॉक्टर वैदिक ने बातचीत के दौरान बताया 'मई 2013 में जब मैं पाकिस्तान गया था तब एक टीवी चैनल पर चर्चा के दौरान पैनल में से एक दाढ़ीवाले शख्स ने मुझसे कहा आप ग़लत बोल रहे हैं। फिर मैंने उससे पूछा कि आप तर्क पेश करें कि मैं गलत हूं। फिर वह व्यक्ति चर्चा बीच में ही छोड़कर चला गया। मैंने पूछा कौन था यह? फिर मुझे बताया गया, यह हाफिज़ सईद था।'

कैसे हुई मुलाकात : डॉक्टर वैदिक ने हाफिज़ सईद से अपनी मुलाकात का पूरा किस्सा सुनाया। उन्होंने कहा, '1 जुलाई की शाम में पाकिस्तान में अपने पत्रकार दोस्तों के साथ बैठा था। तो बातचीत के दौरान पाकिस्तानी पत्रकारों ने मुझसे पूछा 'आप कभी हाफिज़ सईद से मिले हैं?' मैंने कहा, ' मिला नहीं, एक बार टीवी पर चर्चा की है।' फिर पत्रकार दोस्तों ने पूछा ' मिलना चाहेंगे?' मैंने कहा ' क्यों नहीं? मैंने देखा कि जो सईद भारत, अमेरिका और यूएन का अपराधी है, वह पाकिस्तान में पत्रकारों को सुलभता से उपलब्ध है। लगभग 500 से 600 पाकिस्तानी पत्रकारों के पास सईद का नंबर है और वे उससे बात करते हैं। पत्रकारों ने फोन लगाया और सईद से मिलने का समय ले लिया गया। सुबह सात बजे का समय मिला, क्योंकि मुझे 11 बजे भारत लौटने के लिए फ्लाइट पकड़नी थी। तो इस तरह सईद से मुलाकात फिक्स हुई।

देखिए खास बातचीत का विस्तृत वीडियो


सईद वाकिफ था कौन हैं डॉक्टर वैदिक : डॉक्टर वैदिक ने बताया कि उन्होंने सईद से मुलाकात करवाने वाले अपने दोस्तों से कह दिया था कि वे सईद को बता दें कि वैदिक कौन है? मैं सीधे सवाल पूछना चाहता हूं। जब सईद से पूछा गया कि क्या वे डॉक्टर वैदिक को जानते हैं? तो उसने कहा, हां, मैंने पाकिस्तानी अखबारों और टीवी चैनल पर डॉक्टर वैदिक को पढ़ा और सुना है।

बंदूकों के साये में हुई मुलाकात : डॉक्टर वैदिक ने विस्तार से बताया कि किस तरह उन्हें सईद तक ले जाया गया। एक के बाद एक कई बैरियर आए, जहां बंदूकधारी लोग मौजूद थे। इतने बैरियर तो मुझे तब भी नहीं मिले, जबकि मैं इससे चार पांच दिन पहले पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ से मिलने गया था। डॉ. वैदिक की कार बहुत पहले ही पार्क करवा दी गई। उन्होंने कहा, 'शायद यह आशंका हो कि मेरी कार में बम हो सकता है, उसे सईद के ठिकाने से काफी पहले ही पार्क करवा दिया गया।

मुझे 15 से 20 बंदूकधारी लोग एक गली में ले गए, जहां पहले से कुछ और बंदूकधारी लोग मौजूद थे। उनके साथ मैं एक कमरे में आ गया, जहां मुझे बैठने को कहा गया। अचानक मैंने साइड में देखा कि दो बंदूकधारी लोग मुझ पर निशाना तान कर खड़े हैं, मुझे बुरा लगा कि मुलाकात का यह क्या तरीका? थोड़ी देर बाद सईद आया, मैं शिष्टाचारवश खड़ा हो गया। मैंने देखा कि मेरे पीछे एक और बंदूकधारी मेरी पीठ की तरफ निशाना लगाए खड़ा है।

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