अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश चन्द्रेश खरे की अदालत ने प्रेमी की हत्या के मामले में गढ़ा गुलौआताल निवासी गौराबाई पटैल को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। साथ ही पांच सौ रुपए का जुर्माना ठोंक दिया।
अभियोजन का पक्ष एजीपी उदय चोलकर ने रखा। दलील दी गई कि 25 मई 2010 को शाम 4 बजे शारदा चौक निवासी नीलू उर्फ नीलेश ठाकुर की बेरहमी से पत्थर पटकने के बाद चाकू घोंपकर हत्या कर दी गई थी। जिसके बाद गौराबाई महिला थाना मदनमहल पहुंची और आत्मसमर्पण कर दिया।
पुलिस ने उसके खिलाफ भादवि की धारा 302 सहित अन्य के तहत प्रकरण कायम किया। पतासाजी के दौरान स्थिति स्पष्ट हुई कि आरोपी महिला का मृतक से प्रेमसंबंध था। इसके चलते वह अपने पति हरिओम पटैल से अलग होकर प्रेमी के साथ रह रही थी। इस बीच तलाक को लेकर विवाद हो गया। जिसकी परिणति हत्या के रूप में हुई। जब प्रेमी सो रहा था प्रेमिका ने गुस्से में उसके उᆬपर बड़ा पत्थर पटक दिया। इसके बाद चाकू मारकर दम निकाल दिया।