श्रावण शुक्ल पूर्णिमा यानी सोमवार, 7 अगस्त 2017 को रक्षाबंधन पर इस बार खंडग्रास चन्द्रग्रहण का योग बन रहा है। रक्षाबंधन पर चन्द्रग्रहण और भद्रा का योग बनने के कारण लोगों में यह जानने की उत्सुकता है कि श्रावणी उपाकर्म कब किया जाए और राखी कब बांधी जाए? भद्रा की समाप्ति और चन्द्रग्रहण का सूतक लगने के बीच के समय में रक्षाबंधन, श्रावणी उपाकर्म और श्रवण पूजन करना शुभ रहेगा।
खंडग्रास चन्द्रग्रहण 7 अगस्त की रात्रि 10 बजकर 40 मिनट पर प्रारंभ प्रारंभ होगा। इसका मध्य काल 11 बजकर 39 मिनट पर होगा तथा मोक्ष मध्यरात्रि में 12 बजकर 35 मिनट पर होगा। इस प्रकार ग्रहण की कुल अवधि 1 घंटा 55 मिनट रहेगी। ग्रहण का सूतक काल 7 अगस्त की दोपहर 1 बजकर 40 मिनट से प्रारंभ हो जाएगा। भद्रा 7 अगस्त को दोपहर 11.29 बजे तक रहेगी।
इसलिए रक्षाबंधन, श्रावणी उपाकर्म और श्रवण पूजन प्रात: 11.30 से दोपहर 1.39 के मध्य संपन्न करें।
ग्रहण का स्पर्श
रात्रि 10.40 बजे। ग्रहण का मध्य- रात्रि 11.39 बजे। ग्रहण का मोक्ष- रात्रि 12.35 बजे। कुल अवधि- 1 घंटा 55 मिनट