सर्दी के दिनों में त्वचा का रूखा होना, फटना या फिर निर्जीव होना खूबसूरती में कमी लाता है। इन दिनों में त्वचा को अतिरिक्त पोषण और नमी की आवश्यकता होती है। सर्दियों में त्वचा की सही देखभाल न की गई, तो आपकी त्वचा बेजान हो सकती है और उसे दोबारा ठीक करना जरा मुश्किल हो सकता है। जानिए सर्दियों में त्वचा की देखभाल के यह 5 तरीके-
1. इस बात का खास ख्याल रखें कि त्वचा रूखी न रहे। तैलीय क्रीम, लोशन या फिर तेल का इस्तेमाल कर आप त्वचा को चिकनाई और नमी दे सकते हैं। चिकनाई और नमी आपकी त्वचा के लिए इस समय बेहद जरूरी है।
2. सुबह और रात के समय ठंडी हवाएं त्वचा को काफी नुकसान पहुंचाती हैं इसलिए त्वचा को ढंककर रखें और रात को सोने से पहले वैसलीन, तेल या फिर चिकनाईयुक्त क्रीम जरूर लगाएं।
3. कोहनी, एड़ियों और पैरों की विशेष देखभाल करें। रात को सोते समय पैरों की मालिश करें और एड़ियों में क्रीम लगाकर सोएं। इन दिनों में एड़ियां फटने की समस्या बहुत होती है।
4. नहाने के बाद त्वचा को अच्छी तरह से पोंछ लें और नमीयुक्त त्वचा पर ही तेल या लोशन से मसाज करें ताकि आपकी त्वचा में गहराई तक रूखापन न रहे और त्वचा स्वस्थ रहे।
5. त्वचा पर बहुत अधिक चिपचिपे क्रीम या अन्य उत्पादों का प्रयोग न करें। ऐसा करने से त्वचा पर धूल-मिट्टी आकर चिपकेगी और यह आपकी त्वचा में संक्रमण पैदा कर सकती है।
6. रात के समय शरीर पर ग्लीसरीन, गुलाब जल और नींबू का मिश्रण भी लगाया जा सकता है, यह त्वचा को फटने से भी बचाता है और निखार भी लाता है। इस मौसम में आप घरेलू सौंदर्य प्रसाधनों से सौंदर्य को निखार सकते हैं।
7. नहाने के लिए गुनगुने पानी का ही प्रयोग करें। ठंडे पानी से त्वचा का रूखापन बढ़ सकता है और गरम पानी से त्वचा को नुकसान होने के साथ-साथ त्वचा का रंग काला भी हो सकता है।
8. होंठों की त्वचा का ख्याल रखना भी बेहद जरूरी है, क्योंकि इस मौसम में होंठ फटने के साथ-साथ दर्द भी होने लगता है। होंठों पर चिकनाई की एक परत लगाकर रखें। रात के समय भी इस पर वैसलीन या अन्य उत्पाद लगाकर सोएं।
मलाई का प्रयोग आपकी त्वचा और होंठों के लिए काफी फायदेमंद होता है। मलाई में हल्दी और नींबू मिलाकर आप त्वचा की सफाई कर सकते हैं। इसके बाद त्वचा को साफ पानी से धो लें। इससे त्वचा मुलायम और चिकनी हो जाती है।
10. सप्ताह में 2 दिन त्वचा की अच्छी तरह से सफाई और स्क्रब जरूर करें ताकि मृत त्वचा भी निकल जाए और त्वचा में संक्रमण या फिर अन्य समस्याएं न हों।