Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

Ground Report : Corona काल में बड़ावदा के युवाओं ने पेश की सेवा और समर्पण की अनूठी मिसाल

हमें फॉलो करें Ground Report : Corona काल में बड़ावदा के युवाओं ने पेश की सेवा और समर्पण की अनूठी मिसाल

नृपेंद्र गुप्ता

, बुधवार, 19 मई 2021 (07:15 IST)
कोरोना (Coronavirus) की दूसरी लहर में जब महामारी ने ग्रामीण क्षेत्र में पैर पसारना शुरू किया तो रतलाम का बड़ावदा भी इससे अछूता नहीं रह सका। 14 हजार की आबादी वाला यह गांव भी उस समय कोरोना और टायफाइड की चपेट में था।
यहां एक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र है, जहां कोरोना टेस्ट भी होता है लेकिन जांच करवाने कोई नहीं जाता था। कहते हैं- जहां चाह हो वहां राह भी अपने आप मिल ही जाती है। ऐसी ही कहानी है बड़ावदा सेवा समिति की, जिसके कार्यकर्ताओं में जज्बा है, समर्पण है, जुनून है, सेवा की जिद है और सबसे ऊपर अपनों को कोरोना से बचाने का अथक संघर्ष भी है।
 
कोरोना काल में किस तरह किया काम : गांव के लोगों में कोरोना को लेकर जागरूकता की कमी थी। वे अस्पताल में इलाज नहीं कराना चाहते थे। ऐसे में बड़ावदा सेवा समिति के कार्यकर्ताओं ने घर-घर जाकर लोगों को जागरूक किया। कोरोना जांच को लेकर उनके डर को दूर किया गया और हॉस्पिटल जाकर जांच कराने के लिए प्रेरित किया गया। इतना ही नहीं, कुछ मरीजों को साथ में ले जाकर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर कोरोना की जांच भी करवाई। उन्हें स्वास्थ्य केंद्र से दवाई भी उपलब्ध करवाई गई।
 
यहां अब तक 28 से 30 लोग कोरोना के शिकार हो चुके हैं। इनमें से अधिकांश स्वस्थ हो चुके हैं और 8 एक्टिव मरीज है। समिति के सदस्य होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों की पूरी देखभाल करते हैं।
 
webdunia
इस तरह खुला कोविड केअर सेंटर : बड़ावदा में कोरोना टेस्ट तो होते थे पर कोविड केअर सेंटर नहीं था। इस पर नगर के वरिष्ठ लोगों की मदद से एक प्रस्ताव भेजा गया। केंद्रीय मंत्री थावरचंद गेहलोत की सहयोग से सेंटर खुल भी गया। सरकार ने यहां सारी व्यवस्था कर दी। पर सेंटर चलाने के लिए स्टाफ नहीं था।
 
अब सबसे बड़ी समस्या यह थी कि सेंटर संभालेगा कौन? महामारी के दौर में कोरोना मरीजों की सेवा कौन करेगा? इस मुश्किल समय में समिति के अध्यक्ष प्रवीण व्यास आगे आए और उनकी टीम ने कोविड सेंटर में कोरोना मरीजों की सेवा करने का संकल्प लिया। 13 मई से सेंटर शुरू भी हो गया।
कैसे हैं कोविड सेंटर में इंतजाम : व्यास बताते हैं कि कोविड सेंटर में हमने सेवा के लिए 8-8 घंटे की 3 शिफ्ट बनाई हैं। हर शिफ्ट में 3-3 सदस्यों को रखा गया। इस तरह 24 घंटे समिति के सदस्य मरीजों की सेवा में तत्पर रहते हैं।
 
अब यहां ऑक्सीमीटर से ऑक्सीजन चेक करने से लेकर, काढ़ा पिलाने, मरीजों ने दवाई ली या नहीं इसका ध्यान रखने के साथ ही उनके चाय, नाश्ता, खाना और मनोरंजन तक सभी कार्य समिति के सदस्य ही करते हैं।
 
webdunia
रतलाम-उज्जैन चेक पोस्ट पर सेवा : समिति के सदस्य रतलाम-उज्जैन चेक पोस्ट पर भी पुलिस-प्रशासन के साथ भी सेवा दे रहे हैं। यहां से गुजरने वालों को सेनेटाइज करने के साथ ही मास्क लगाने के लिए भी प्रेरित किया जा रहा है।

इस तरह खड़ी की रक्तदाताओं की बड़ी फौज : 2016 में स्थापित बड़ावदा सेवा समिति ने मात्र 5 साल में रतलाम, इंदौर, उज्जैन समेत मध्यप्रदेश के 28 जिलों में रक्तदाताओं की बड़ी फौज खड़ी कर दी है। इन जिलों में मात्र 1 से डेढ़ घंटे में ब्लड अरेंज करवा दिया जाता है। इसके अलावा वडोदरा जैसे शहरों में भी कई कार्यकर्ता हैं जो 3 से 4 घंटे में ब्लड अरेंज करवा देते हैं। अब तक 3800 से ज्यादा यूनिट ब्लड डोनेट किया जा चुका है। कोरोनाकाल में रतलाम जिले में सबसे ज्यादा रक्तदान के लिए समिति को सम्मानित किया जा चुका है।

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

Tauktae का असर : उत्तर भारत के कुछ हिस्सों में बारिश की चेतावनी, 50-60 किमी प्रतिघंटे की रफ्तार से हवा चलेगी