कानपुर। कानपुर में कोरोना वायरस (Corona virus) कोविड-19 संक्रमण से पुलिस,पत्रकार के बाद बचे डॉक्टर भी अब चपेट में आ गए हैं। देर रात आई जांच रिपोर्ट में एक जूनियर डॉक्टर के संक्रमित होने की पुष्टि सीएमओ अशोक कुमार शुक्ला द्वारा करने के बाद जहां मेडिकल कॉलेज प्रशासन में हड़कंप मच गया तो वहीं जिला प्रशासन भी बेहद चिंतित है और आनन-फानन में स्वास्थ्य विभाग ने मेडिकल स्टाफ के 50 सैंपल जांच के लिए भेजे हैं।
मेडिकल प्रशासन सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज में एक नॉन पीजी जूनियर डॉक्टर की रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद जब उससे जानकारी ली गई तो बेहद चौंकाने वाली बात सामने आई और जानकारी में पता चला कि बुखार होने के बाद भी वह हैलट इमरजेंसी के ऑर्थोपेडिक्स विभाग में नियमित ड्यूटी करता रहा और सैंपल लिए जाने के बाद तक वह अपनी ड्यूटी को ईमानदारी के साथ निभाता रहा।
जांच रिपोर्ट में पॉजिटिव आने के बाद से वह ड्यूटी पर आने से रोका गया, लेकिन इसकी जानकारी होने के बाद मेडिकल कॉलेज में हड़कंप मच गया है और अन्य डॉक्टरों के बीच संक्रमण की चेन को रोकने के लिए आनन-फानन में डॉक्टरों की भी जांच कराए जाने को लेकर तैयारियां तेज हो गई हैं और देर रात तक मेडिकल स्टाफ के 50 सैंपल जांच के लिए भेजे भी गए हैं।
माना यह जा रहा है बुखार की स्थिति में भी जूनियर डॉक्टर काम करता रहा है। इस दौरान व अन्य डॉक्टरों के संपर्क में भी आया होगा इसलिए संक्रमण की चेन कहीं लंबी होने का खतरा है, जिसको लेकर अब मेडिकल कॉलेज प्रशासन का पूरा ध्यान ड्यूटी पर लगे डॉक्टर पर है।
अब जांच के साथ मेडिकल छात्रों और जूनियर डॉक्टरों की स्क्रीनिंग करवाई जाने की तैयारियां की जा रही हैं। साथ ही साथ उन मरीजों को भी ढूंढा जा रहा है जो लोग संक्रमित हुए जूनियर डॉक्टर के संपर्क में आए हैं।
मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉक्टर आरती लाल चंदानी ने बताया कि डॉक्टरों की सुरक्षा को देखते हुए काम कर रहे सभी की स्कैनिंग कराई जा रही है, साथ ही कुछ लोगों के सैंपल भी भेजे गए हैं।