लंदन। कोरोना वायरस (Corona virus) के खतरे के मद्देनजर ब्रिटेन की महारानी एलिजाबेथ द्वितीय आधिकारिक आवास बकिंघम पैलेस छोड़ विंडसर कैसल चली गई हैं। महारानी ने यह कदम देश में कोरोना वायरस से करीब 21 लोगों की मौतों के बीच 70 साल से अधिक उम्र के लोगों को पृथक रखने जैसी योजना के बीच उठाया है।
आने वाले हफ्तों में 93 वर्षीय महारानी और 98 वर्षीय उनके पति प्रिंस फिलिप को नॉरफॉल्क स्थित शाही सैंड्रिंघम एस्टेट में पृथक रखे जाने की संभावना है। ब्रिटेन 1140 से अधिक लोगों के संक्रमित होने के बाद कड़े कदम उठा रहा है। बकिंघम पैलेस ने महारानी के कार्यक्रमों को रद्द करने की जानकारी देते हुए कहा, उचित सलाह के आधार पर अन्य कार्यक्रमों की भी समीक्षा की जा रही है।
खबरों के मुताबिक, महारानी को बकिंघम पैलेस से स्थानांतरित करने का फैसला महल के मध्य लंदन में होने, उस इलाके में बड़ी संख्या में कर्मचारियों के कार्यरत होने और नियमित तौर पर आगंतुकों के आने की वजह से लिया गया।
कुछ अन्य खबरों में कहा गया कि महारानी को लंदन वापस लाने से पहले स्थिति की निरंतर समीक्षा की जाएगी और ऐसी भी संभावना है कि उन्हें लंदन लाने के बजाय थोड़े से कर्मचारियों के साथ सैंड्रिंघम ले जाया जा सकता है। ‘द सन’ अखबार ने शाही सूत्रों के हवाले से कहा, महारानी की सेहत ठीक है लेकिन यह समझा गया कि उन्हें बकिंघम पैलेस से दूर रखना सबसे बेहतर है।
सूत्रों ने बताया, महल दुनियाभर के राजनीतिज्ञों और गणमान्य लोगों सहित बड़ी संख्या में आगंतुकों की मेजबानी करता है। हाल तक महारानी ने बड़ी संख्या में लोगों से मुलाकात की लेकिन 94वें जन्मदिन से कुछ हफ्ते पहले सलाहकारों ने किसी नुकसान से बचाने के लिए उन्हें महल से दूर रखना ही बेहतर समझा।
इस बीच, ब्रिटेन के स्वास्थ्य मंत्री मैट हैनकॉक ने पुष्टि कि है सरकार की योजना आने वाले हफ्तों में बुजुर्गों और शारीरिक रूप से कमजोर लोगों को पूरी तरह से पृथक रखने की है।