साउथम्प्टन में न्यूजीलैंड ने आईसीसी वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल में भारत को 8 विकेट हराकर खिताब पर कब्ज़ा जमाया। टीम इंडिया को हराने के साथ ही न्यूजीलैंड टेस्ट चैंपियनशिप जीतने वाली दुनिया की पहली टीम बन गई।
खिताबी जंग जीतने के लिए कीवी टीम के सामने सिर्फ 139 रनों का लक्ष्य था, जिसे टीम ने मात्र दो विकेट के नुकसान पर हासिल कर लिया। न्यूजीलैंड तो टेस्ट में बेस्ट बन गई, लेकिन भारतीय टीम को एक बार फिर से ट्रॉफी के इतने करीब पहुंचकर हार का सामना करना पड़ा।
21 सालों में 5 फाइनल हार चुकी है टीम
आप सभी को यह जानकर हैरानी होगी, लेकिन पिछले 21 सालों में भारतीय टीम ने एक या दो नहीं बल्कि पूरे पांच आईसीसी के फाइनल मैच हारे हैं। जी हां, पांच... इस बात में कोई शक नहीं है कि टीम इंडिया को विश्व की सबसे ताकतवर टीमों में से एक माना जाता है लेकिन यह भी एक कड़वा सच है कि फाइनल जैसे बड़े इवेंट में टीम एकदम फिसड्डी साबित हो जाती है।
अब साल 2000 को ही ले लीजिए... उस समय नैरोबी में आईसीसी नॉकआउट इवेंट खेला गया था और फाइनल में भारत के सामने थी न्यूजीलैंड। फाइनल में भारत ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 6 विकेट के नुकसान पर 264 रनों का स्कोर बनाया था। टीम के लिए कप्तान सौरव गांगुली के बल्ले से 117 रनों की शतकीय पारी भी निकली थी, लेकिन दो गेंद शेष रहते 265 रनों का लक्ष्य बड़ी आसानी के साथ हासिल कर लिया। कीवी टीम ने चार विकेट से भारत को हराया था।
2003 में जब कंगारू पड़े भारी
2003 का वर्ल्ड कप दक्षिण अफ्रीका में खेला गया था और भारतीय टीम ने सौरव गांगुली की अगुवाई में फाइनल तक का सफर तय किया था। फाइनल में टीम का सामना ऑस्ट्रेलिया से हुआ था और कंगारू टीम ने 125 रनों के बड़े अंतर से पटखनी दी थी।
फाइनल में मैन इन ब्लू के सामने 360 रनों का विशाल लक्ष्य था, लेकिन टीम 234 पर ही ढेर हो गई और लगातार दूसरी बार आईसीसी ट्रॉफी जीतने से चूक गई।
2014 में था सबसे बढ़िया मौका
साल 2014 के टी20 वर्ल्ड कप में भारत के पास एक बार फिर से आईसीसी ट्रॉफी जीतनी का मौका आया था। उस समय फाइनल में सामने थी श्रीलंका और भारत हर एक डिपार्टमेंट के आधार पर जीत का फेवरेट माना जा रहा था, लेकिन क्रिकेट में कब, क्या हो जाए कोई अनुमान नहीं लगा सकता।
भारत ने पहले बल्लेबाजी करते हुए बोर्ड पर सिर्फ 130/4 का स्कोर लगाया। टीम के लिए विराट कोहली के बल्ले से जहां 58 गेंदों पर 77 रनों की शानदार पारी देखने को मिली, तो हार का एक बड़ा कारण रहे युवराज सिंह, जिनके बल्ले से 21 गेंदों पर मात्र 11 रन देखने को मिले। श्रीलंका ने बहुत ही आसानी के साथ 13 गेंद शेष रहते लक्ष्य को हासिल कर लिया और भारत को छह विकेट से हरा दिया।
पाकिस्तान ने भी नहीं छोड़ा
साल 2017 में भारत के पास आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी जीतने का सबसे बढ़िया अवसर था, क्योंकि इस बार फाइनल में चिर प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान था। विराट कोहली का भी बतौर कप्तान यह पहला आईसीसी इवेंट था।
फाइनल में पाकिस्तान ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 338 रन बना डाले और रोहित, धोनी, धवन, कोहली और युवराज जैसे बल्लेबाजों से सजी टीम इंडिया सिर्फ 158 पर सिमट गई। पाकिस्तान ने यह मुकाबला 180 रनों के बड़े से जीता था।
WTC भी नहीं हुआ नसीब
पिछले दो सालों में भारत ने टेस्ट क्रिकेट में बेहद ही कमाल का प्रदर्शन किया था और टीम को टेस्ट चैंपियनशिप जीतने का प्रबल दावेदार भी माना जा रहा था, लेकिन पहले बारिश और बाद में कीवी गेंदबाजों ने कोहली एंड कंपनी का सारा समीकरण बिगाड़ दिया।
टीम इंडिया ने न्यूजीलैंड के सामने सिर्फ 139 रनों का लक्ष्य रखा और कीवी टीम ने दो विकेट के नुकसान पर टेस्ट चैंपियनशिप का खिताब जीतकर अपने नाम किया और इस तरह भारत 21 सालों में पांचवीं बार आईसीसी के फाइनल में हार गया।
वैसे बात सिर्फ फाइनल की नहीं है
जी हां, बात सिर्फ फाइनल की नहीं है। 2014 के बाद से जो भी आईसीसी इवेंट खेले गए उसमें भारत ने दमदार प्रदर्शन तो जरुर किया लेकिन खिताब एक बार भी अपने नाम कर सके। टीम इंडिया को या तो फाइनल में हार मिली या सेमीफाइनल में टीम का सफर खत्म हो गया।
2014 से टीम इंडिया का आईसीसी इवेंट में प्रदर्शन :
साल |
इवेंट |
सफर |
परिणाम |
2014 |
टी-20 वर्ल्ड कप |
फाइनल |
हार |
2015 |
वनडे वर्ल्ड कप |
सेमीफाइनल |
हार |
2016 |
टी-20 वर्ल्ड कप |
सेमीफाइनल |
हार |
2017 |
चैंपियंस ट्रॉफी |
फाइनल |
हार |
2019 |
वनडे वर्ल्ड कप |
सेमीफाइनल |
हार |
2021 |
टेस्ट चैंपियनशिप |
फाइनल |
हार |