Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia

राणा संग्राम सिंह की पुण्यतिथि, जानें उनका जीवन और खास युद्ध के बारे में

Advertiesment
हमें फॉलो करें राणा संग्राम सिंह की पुण्यतिथि, जानें उनका जीवन और खास युद्ध के बारे में

WD Feature Desk

, गुरुवार, 30 जनवरी 2025 (14:20 IST)
rana sanga : मेवाड़ के एक शूरवीर योद्धा और कुशल शासक राणा संग्राम सिंह की पुण्यतिथि 30 जनवरी को मनाई जाती है। मुगल बादशाहों के आक्रमणों से अपने राज्य की ऱक्षा करने वाले वे उस समय के वह सबसे शक्तिशाली राजा थे। आइए यहां उनके जीवन के बारे में कुछ जानकारी जानते हैं :ALSO READ: महात्मा गांधी पर हिन्दी में रोचक निबंध
 
जीवन परिचय : राणा संग्राम सिंह या राणा सांगा मेवाड़ के पूर्व शासक एवं महाराणा प्रताप के पूर्वज थे। उन्होंने मेवाड़ पर साल 1509 से 1528 तक शासन किया। राणा संग्राम सिंह, जिन्हें राणा सांगा के नाम से भी जाना जाता है, का जन्म 12 अप्रैल 1482 को मेवाड़ में हुआ था। वे महाराणा रायमल के पुत्र थे। उनके बचपन का नाम संग्राम सिंह था।

राणा सांगा एक महान योद्धा थे। उन्होंने अपने जीवन में कई युद्ध लड़े और अपनी वीरता का लोहा मनवाया। उन्होंने मेवाड़ की सीमाओं का विस्तार किया और अपनी प्रतिष्ठा को बढ़ाया। उन्होंने राजपूतों को एकजुट करके एक शक्तिशाली सेना का निर्माण किया। उन्होंने मेवाड़ को एक शक्तिशाली राज्य बनाया। उन्होंने राजपूतों को एकजुट करके मुगल आक्रमणकारियों का सामना किया। 
 
शौर्य और नेतृत्व के धनी रा‍णा सांगा के प्रमुख युद्ध :
• खातोली का युद्ध (1517) में उन्होंने दिल्ली के सुल्तान इब्राहिम लोदी को हराया।
• 1519 में हुए गागरोन युद्ध में उन्होंने मालवा के सुल्तान महमूद खिलजी द्वितीय को हराया।
• सन् 1527 में उन्होंने बयाना के युद्ध में मुगल सम्राट बाबर की सेना को हराया।
• 1527 में खानवा का युद्ध राणा सांगा और बाबर के बीच हुआ था। इस युद्ध में राणा सांगा घायल हो गए थे और उन्हें युद्ध के मैदान से पीछे हटना पड़ा था।
 
कब हुआ था राणा सांगा का निधन : खानवा के युद्ध में घायल होने के बाद राणा सांगा को इलाज के लिए ले जाया गया, लेकिन उनकी हालत में सुधार नहीं हुआ। 30 जनवरी 1528 को उनकी मृत्यु हो गई। तत्पश्चात राणा सांगा के बाद उनके पुत्र रतन सिंह उनके उत्तराधिकारी और मेवाड़ के महाराणा बने। सही मायनों में राणा सांगा एक वीर योद्धा थे, जो अपनी वीरता और उदारता के लिए प्रसिद्ध हुए थे। उनका नाम भारतीय इतिहास में हमेशा याद किया जाएगा।
 
अस्वीकरण (Disclaimer) : चिकित्सा, स्वास्थ्य संबंधी नुस्खे, योग, धर्म, ज्योतिष, इतिहास, पुराण आदि विषयों पर वेबदुनिया में प्रकाशित/प्रसारित वीडियो, आलेख एवं समाचार सिर्फ आपकी जानकारी के लिए हैं, जो विभिन्न सोर्स से लिए जाते हैं। इनसे संबंधित सत्यता की पुष्टि वेबदुनिया नहीं करता है। सेहत या ज्योतिष संबंधी किसी भी प्रयोग से पहले विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें। इस कंटेंट को जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है जिसका कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है।

 

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

Diet Tip : कोलेस्ट्रॉल घटाने के लिए इन 5 तरीकों से खाएं अदरक, दिल की सेहत के लिए है गुणकारी