यहां झांसी के ओम शांति नगर में उमा भारती रह रही हैं। मकान नंबर 54 । यह घर है भाजपा नेता राजीवसिंह का। यहीं से वे रोज़ाना प्रचार के लिए निकलती हैं। रुटीन फिक्स है। सुबह दस के पहले वे किसी से नहीं मिलतीं। नहाती हैं, तैयार होती हैं। उनका बेडरूम इस डुपलेक्स में ऊपर की मंजिल पर है। नीचे बाबा रामदेव के कार्यकर्ता मिलने आए हैं।वे कहते हैं कि एक बार हमारा कार्ड उन तक पहुंचा दो। उनका सचिव कहता है कि मुझे उन्हें डिस्टर्ब करने की इजाजत नहीं है। उनसे इंतज़ार करने को कहा जाता है। मामला दरअसल यह है कि बाबा रामदेव 21 को झांसी आ रहे हैं। वे चाहते हैं कि एक सभा (उमा भारती के खर्च से) इस तरह हो कि चुनाव आयोग को भी तकलीफ न हो और बाबा रामदेव उमा भारती के पक्ष में प्रचार भी कर दें। आखिरकार उमा भारती नीचे आती हैं और बंद कमरे में आधा घंटा चर्चा होती है। निकलते समय बाबा रामदेव के कार्यकर्ता संतुष्ट हैं। उमा भारती ने ऐसा मामला जमा दिया है कि सब हो जाएगा। अब जो लोग उमा भारती से बात करना चाहते हैं, वे न्यूज़ चैनल वाले हैं। वे एक खास मामले में बाइट लेने आए हैं। मुलायमसिंह ने कहा है कि बलात्कारियों को फांसी नहीं होनी चाहिए। इस पर उमा भारती को अपनी राय देना है।उमा भारती इस विषय पर कहती हैं कि खुद मुलायम के परिवार की औरतों को इस पर ऐतराज होना चाहिए। वे और भी बहुत सी कड़ी बातें बोलती हैं। अपनेराम के मन में आता है कि पूछे- क्या आसाराम को भी फांसी होनी चाहिए?...मगर अपनेराम को उमा के काफिले के साथ दूर तक जाना है और कार्यकर्ताओं व उमा भारती की सद्भावना के बिना ये संभव नहीं होगा। इसलिए दिल का सवाल दिल में ही रह गया है।
और फिर गूंजती है उमा भारती की हंसी... पढ़ें अगले पेज पर....