गुड़ी पड़वा पर मुख्य रूप से 6 शुभ और मंगलकारी काम किए जाते हैं....
• नव वर्ष फल श्रवण (नए साल का भविष्यफल जानना)
• तैल अभ्यंग (तैल से स्नान)
• निम्ब-पत्र प्राशन (नीम के पत्ते खाना)
• ध्वजारोपण
• चैत्र नवरात्रि का आरंभ
• घटस्थापना
संकल्प के समय नव वर्ष नामग्रहण (नए साल का नाम रखने की प्रथा) को चैत्र अधिक मास में ही शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा को मनाया जा सकता है। इस संवत्सर का नाम आनंद है तथा वर्ष 2078 है। साथ ही यह श्री शालीवाहन शकसंवत 1943 भी है और इस शक संवत का नाम प्लव है।
नव संवत्सर का राजा (वर्षेश)
नए वर्ष के प्रथम दिन के स्वामी को उस वर्ष का स्वामी भी मानते हैं। 2021 में हिन्दू नव वर्ष मंगलवार से आरंभ हो रहा है, अतः नए सम्वत् का स्वामी मंगल है।
गुड़ी पड़वा के पूजन-मंत्र
प्रातः व्रत संकल्प