वॉशिंगटन। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने उत्तर कोरिया को चेताया है कि अमेरिका का सैन्य अभियान तबाही लाने वाला होगा, लेकिन उत्तर कोरिया के बैलिस्टिक और परमाणु हथियार कार्यक्रम के खिलाफ सेना का इस्तेमाल पहला विकल्प नहीं है।
ट्रंप ने व्हाइट हाउस में मंगलवार को कहा कि हम दूसरे विकल्प के लिए पूरी तरह तैयार हैंलेकिन इसे तरजीह नहीं दी जाएगी। लेकिन अगर हम यह विकल्प चुनते हैं तो बड़ी तबाही होगी। मैं आपको कह सकता हूं कि यह उत्तर कोरिया के लिए तबाही होगी जिसे सैन्य विकल्प कहते हैं। अगर हमें यह लेना पड़ा तो हम लेंगे।
अमेरिका के एक शीर्ष सैन्य अधिकारी ने कहा कि कि दोनों देशों के बीच बढ़ते तनाव के बावजूद अमेरिका ने उत्तर कोरिया की सैन्य प्रवृति में कोई भी बदलाव नहीं पाया है, जो एक खतरे को दर्शाता है।
अमेरिका और उत्तर कोरिया के बीच तनाव दिनोदिन बढ़ता जा रहा है। इसी कड़ी में उत्तर कोरिया के विदेश मंत्री री योंग हो ने सोमवार को अमेरिका द्वारा युद्ध की घोषणा का दावा किया और इसका माकूल जवाब देने की धमकी भी दी, हालांकि अमेरिका ने उत्तर कोरिया के दावे को बेतुका करार दिया है।
उल्लेखनीय है कि उत्तर कोरिया द्वारा परमाणु परीक्षण कार्यक्रम को जारी रखने से नाराज अमेरिका ने इसके खिलाफ गत गुरुवार को भी प्रतिबंध की घोषणा की थी और शनिवार को इसके पूर्वी छोर पर बमवर्षकों को उड़ाकर शक्ति प्रदर्शन किया था।
दोनों देशों के बीच जारी जुबानी जंग के बीच चीन ने आग्रह किया है वे एक-दूसरे के खिलाफ आरोप-प्रत्यारोप बंद करें। चीन ने आगाह किया है कि कोरियाई प्रायद्वीप में अगर युद्ध भड़का तो कोई भी इसे जीत नहीं पाएगा। चीन दोनों पक्षों के बीच चल रहे युद्ध की धमकी वाली बयानबाजी को भी अस्वीकार करता है।
अमेरिका के रक्षामंत्री जेम्स मैटिस ने मंगलवार को नई दिल्ली में संवाददाताओं से कहा कि कि उत्तर कोरिया की चुनौती से निपटने के लिए अमेरिका राजनयिक ढंग से समाधान करने के लिए हरसंभव प्रयास कर रहा है। सुरक्षा परिषद द्वारा लगाए गए प्रतिबंध इसी का हिस्सा हैं और अमेरिका चाहता है कि यह मुद्दा राजनयिक ढंग से सुलझ जाए। (वार्ता)