इस्लामाबाद। पाकिस्तान (pakistan) तमाम ना-नुकुर करने के बाद आज कुलभूषण जाधव (kulbhushan jadhav) को राजनयिक पहुंच देगा। पाकिस्तान ने रविवार को ही कहा था कि अंतरराष्ट्रीय न्यायालय (international court of justice) के फैसले के अनुसार सोमवार को कुलभूषण जाधव को राजनयिक पहुंच मुहैया कराई जाएगी।
पाकिस्तान के विदेश कार्यालय ने 1 अगस्त को कहा था कि फांसी की सजा का सामना कर रहे भारतीय नौसेना के सेवानिवृत्त अधिकारी जाधव को अगले दिन दूतावास मदद मुहैया कराई जाएगी। हालांकि जाधव को दूतावास मदद की शर्तों पर दोनों देशों के बीच मतभेदों की वजह से 2 अगस्त को निर्धारित बैठक नहीं हो पाई थी।
बैठक के नहीं होने के बाद से पाकिस्तान के इरादों पर सवाल उठने लगे थे। इसके कुछ समय बाद पाकिस्तान ने दावा किया था कि कुलभूषण जाधव को दूतावास मदद की इजाजत देने के वह वादे के करीब 6 हफ्ते बाद इस मुद्दे पर वह भारत से संपर्क में है।
भारत ने डाला था दवाब : भारत ने गुरुवार को कहा था कि उसने पाकिस्तान से कुलभूषण जाधव तक तत्काल, प्रभावी और अबाधित राजनयिक पहुंच देने को कहा है और राजनयिक माध्यमों से पड़ोसी देश से संपर्क में है।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने पत्रकारों से कहा था कि हम राजनयिक माध्यमों से पाकिस्तानी पक्ष के संपर्क में है। अंतरराष्ट्रीय न्यायालय के आदेश के आधार पर, हमने तत्काल, प्रभावी और अबाधित राजनयिक पहुंच देने को कहा। उन्होंने कहा कि 'देखते हैं कि पाकिस्तान के पक्ष से हमें कैसी प्रतिक्रिया मिलती है। जुलाई में हेग स्थित अदालत ने पाकिस्तान को भारत को बिना किसी देरी के जाधव तक राजनयिक पहुंच देने का आदेश दिया।
ईरान से किया था अपहरण : भारतीय नौसेना के 49 साल के सेवानिवृत्त अधिकारी जाधव को पाकिस्तान की एक फौजी अदालत ने ‘जासूसी और आतंकवाद’ के आरोप लगाकर अप्रैल 2017 में मौत की सज़ा सुनाई थी। भारत का कहना है कि जाधव का ईरान से अपहरण किया गया था, जहां वे नौसेना से सेवानिवृत्त होने के बाद व्यापारिक उद्देश्य से गए थे और उन पर गलत आरोप लगाए गए हैं। इसके बाद भारत ने अंतरराष्ट्रीय न्यायालय का रुख किया था। (File photo)