वॉशिंगटन। व्हाइट हाउस ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के वॉशिंगटन पहुंचने से ठीक पहले कहा है कि उनका यह दौरा भारत और अमेरिका के बीच बढ़ते सहयोग तथा विश्व मंच पर उनके 'साझा नेतृत्व' को दर्शाता है।
व्हाइट हाउस के एक वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी ने बताया कि यह दौरा अमेरिका-भारत संबंधों में उल्लेखनीय परिवर्तन का परिचायक है। बीते 7 वर्षों के दौरान अमेरिका और भारत ने मित्रता का मजबूत रिश्ता बनाया है, जो लोकतांत्रिक मूल्यों, खुले समाज और नियम आधारित व्यवस्था के प्रति सम्मान पर आधारित है।
अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के आमंत्रण पर मोदी मंगलवार दोपहर वॉशिंगटन पहुंचेंगे, जहां दोनों नेताओं का ओवल ऑफिस में मिलने का कार्यक्रम है। इस मुलाकात के बाद राष्ट्रपति ओबामा प्रधानमंत्री मोदी के लिए दोहपर के भोजन का आयोजन करेंगे।
अधिकारी ने कहा कि प्रधानमंत्री का दौरा हमारे दोनों देशों के बीच बढ़ते सहयोग तथा इससे आगे विश्व मंच पर हमारे साझा नेतृत्व को दर्शाता है।
उन्होंने कहा कि जलवायु परिवर्तन की समस्या का हल करने और स्वच्छ ऊर्जा समाधान मुहैया कराने से लेकर आर्थिक एवं व्यापार संबंधों के प्रगाढ़ होने, समुद्र में, वायु में और अंतरिक्ष में हमारे साझा दायरे की रक्षा करने तक यह दुनिया बेहतर होगी अगर अमेरिका और भारत मिलकर पहल करें।
मोदी बुधवार को अमेरिकी कांग्रेस के संयुक्त सत्र को संबोधित करेंगे। इस साल ऐसा करने वाले वे पहले विदेशी नेता होंगे तथा स्पीकर पॉल रयान के तहत कांग्रेस की संयुक्त बैठक को संबोधित करने वाले पहले नेता होंगे।
इस बीच, अमेरिका के 2 प्रमुख अखबारों 'न्यूयॉर्क टाइम्स' और 'वॉल स्ट्रीट जर्नल' ने कहा है कि ओबामा की ओर से मोदी के साथ संबंध मजबूत करने का बुनियादी मकसद चीन है। (भाषा)