न्यूयार्क। वाशिंगटन में एक ऑफिस की कारपार्किंग में तैनात एक रोबोकॉप के पानी में डूबकर 'आत्महत्या' करने से मशीनी मानव की क्षमताओं पर प्रश्नचिन्ह लग गया है। लेकिन जब सोशल मीडिया पर संबंधित खबर और तस्वीरें सामने आईं तो उन्हें वास्तविक वस्तुस्थिति की जानकारी मिली। उसके लिए एक मेमोरियल बनाने का फैसला लिया गया और लोगों ने उसे श्रद्धांजलि दी।
उल्लेखनीय है कि इस रोबो कॉप ने पिछले सप्ताह ही अपनी ड्यूटी जॉइन की थी लेकिन एक सप्ताह के भीतर रोबो स्टीव ने ऑफिस में बने एक फाउंटेन (फब्बारे) में डूबकर अपनी जान दे दी। एक समाचार के अनुसार स्टीव ने फाउंटेन में चार सीढि़यों नीच उतरकर पानी में चला गया। पानी में जाने से इस रोबो का जीपीएस, लेजर, सेंसर और कैमरे जैसे महत्वपूर्ण अंग खराब हो गए। इस रोबो का निर्माण एमआरपी रियल्टी नामक कंपनी ने किया था।
यह रोबोट जिस दफ्तर में काम करता था वहां के कर्मचारी उसकी मौत से बेहद दुखी है। उन्होंने इसकी श्रद्धांजलि के लिए कार्यक्रम भी रखा था।
अब निर्माता कंपनी ने इस तथ्य की जांच करना शुरू कर दी है कि कहीं ऐसा तो नहीं है कि रोबो के सुरक्षागार्ड के तौर पर तैनात किए जाने से इसकी क्षमताओं पर भी प्रश्नचिन्ह लग गया है। इस घटना की तस्वीरों में देखा गया कि घटनास्थल पर एक सुरक्षागार्ड भी तैनात था लेकिन उसे तैरना नहीं आता था। इस घटना को लेकर सोशल मीडिया को प्रयोग करने वालों ने लिखा है कि इस घटना के बाद रोबो की गार्ड के तौर पर तैनात करने की संभावनाएं प्रभावित हुई हैं।
सोशल मीडिया पर लोगों ने इस पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि काम का इतना अधिक तनाव रहता है कि इसे इंसान क्या मशीनी मानव भी बर्दाश्त नहीं कर पाता है और उसकी बुद्धि के प्रयोग करने की क्षमताओं पर सवाल खड़े किए जाने लगे हैं। स्वाभाविक है कि वैज्ञानिकों ने मशीनी क्षमताओं के प्रयोग, उपयोग पर यह सवाल उठाया है कि क्या आभासी बुद्धि, मानवीय बुद्धि से अलग या बेहतर काम करने की क्षमताओं को प्रयोग करने में कुशल या पारंगत हो सकती है?