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आईपीएल के सुरूर में 'सरदार' बन गए हरभजन सिंह

हमें फॉलो करें आईपीएल के सुरूर में 'सरदार' बन गए हरभजन सिंह

सीमान्त सुवीर

, सोमवार, 13 अप्रैल 2015 (20:03 IST)
आईपीएल का आठवां संस्करण एक ऐसे मौके पर देश में आयोजित किया जा रहा है, जहां बेमौसम बारिश और ओलों की वजह से किसान बेहाल हुए जा रहे हैं। रूक-रुककर आसमान से बरसती आफत से क्रिकेट के रोमांच पर फिलहाल कोई सीधा असर नहीं पड़ रहा है, अलबत्ता कुछ बल्लेबाजों ने अपने बल्ले से जो रनों का झरना बहाया है, वो दाद के काबिल है। 
क्रिकेट को चाहने वाले और पसंद करने वाले लोगों की जुबां पर इन दिनों एक ही जुमला है कि आईपीएल में फिक्सिंग चल रही है और सट्‍टेबाजों की अंगुलियों पर क्रिकेटर मैदान पर मोहरे बनकर नाच रहे हैं। इस बात में सच्चाई चाहे जो हो, असल बात तो खुद सट्‍टेबाज जानते हैं या क्रिकेटर या फिर उनकी फ्रेंचाइजी, लेकिन यह बात भी भूलनी नहीं होगी कि यही सट्‍टा बाजार शुरुआत से ऑस्ट्रेलिया को 2015 के विश्व कप में चैम्पियन बता रहा था और हुआ भी ऐसा ही...
 
क्रिकेट पर सट्‍टा लगाने और खाने वाले अपनी जगह हैं..और मैच फिक्सिंग करने वाले अपनी जगह। बहरहाल, 8 अप्रैल से शुरू हुए ईडन गार्डन्स पर फटाफट क्रिकेट का जो रोमांच शुरू हुआ है, वह हफ्तेभर से भी कम समय में अपने शबाब पर आता दिख रहा है। 6 दिन के भीतर चेन्नई के धाकड़ बल्लेबाज ब्रेंडन मैकुलम ने 11 अप्रैल के दिन हैदराबाद के खिलाफ धुआंधार सैकड़ा जमाया। 
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पहले ही मैच से आईपीएल का जो सनसनीखेज आगाज हुआ, उसमें मुंबई इंडियंस के कप्तान रोहित शर्मा भी केवल 2 रन से अपना शतक चूक गए जबकि रॉयल चैंलेंजर्स बेंगलुरु की तरफ से खेल रहे क्रिकेटर क्रिस गेल के बल्ले से भी कोलकाता नाइटराइडर्स के खिलाफ 96 रन निकले। जो मैच आखिरी गेंद पर फैसले के लिए आकर टिक रहे हैं, उसे आप क्या कहेंगे? फिक्सिंग या फिर बल्लेबाजों का कौशल? 
 
जिस किसी ने भी रविवार को वानखेड़े स्टेडियम में मुंबई इंडियंस और किंग्स इलेवन पंजाब का मैच देखा होगा, उसने यह भी देखा होगा कि सरदार हरभजन सिंह ने कैसी बल्लेबाजी की और मुंबई की टीम मैच हारकर भी दर्शकों का दिल जीत ले गई। उन्हें मैच का 'सरदार' कहना किसी सूरत में गलत न होगा। 
 
हरभजन खुन्नस खाकर मैदान पर जब उतरे थे, तब मुंबई शर्तिया हार की तरफ बढ़ रहा था। उसके 6 बल्लेबाज 59 रनों पर आउट हो चुके थे और जीत के लिए 178 रनों का लक्ष्य काफी दूर नजर आ रहा था। इसके बाद मैदान पर उतरे हरभजन सिंह ने जो कल्लेआम मचाया, उसे मुंबई ही नहीं बल्कि टीवी पर मैच देख रहे लाखों दर्शक लंबे अरसे तक भूल नहीं पाएंगे। 
 
हरभजन पंजाब के गेंदबाजों पर टूट पड़े और 18 गेंदों में अर्धशतक जड़ डाला। मात्र 24 गेंदों में 5 चौकों और 6 छक्कों से भज्जी ने 64 रन बनाकर यह साबित करने की कोशिश की कि उनकी कलाइयों में कितना दमखम बाकी है। हरभजन की मैदान पर मौजूदगी में मुंबई ने 15वें ओवर में 19, 16वें ओवर में 17 और 17वें ओवर में 20 रन निकाले। 
 
अंतिम 6 गेंदों पर मुंबई जीत से 30 रन के फासले पर था। आखिरी 6 गेदों में हरभजन ने एक छक्का और एक चौका भी जड़ा लेकिन अनुरीत सिंह की गेंद पर सीमा रेखा पर वे कैच आउट हुए। इसी के साथ मुंबई 17 रनों से मैच हार गया। हरभजन टीम इंडिया से बाहर हैं और यही खुन्नस उन्होंने पंजाब के मैच में निकाली। 
 
आईपीएल को अभी लंबा सफर तय करना है और आने वाले मैचों में किस तरह रोमांचक पल देखने को मिलेंगे, कुछ कहा नहीं जा सकता। इसे शुरू हुए अभी केवल 6 ही दिन हुए लेकिन इसके सनसनीखेज पलों में क्रिकेटप्रेमी खुद को पूरी तरह डुबो चुके हैं। वक्त गुजरने के साथ ही आईपीएल का नशा बढ़ता ही जाएगा, इसमें कोई दो राय नहीं है। आईपीएल इन आठ आयोजनों ने 50 साल के घरेलू क्रिकेट को काफी पीछे छोड़ दिया है। 
 
रह-रहकर यही बहस होती है कि आईपीएल में जान लगाकर खेलने वाले क्रिकेटरों को तब क्या हो जाता है, जब वे देश की तरफ से मैदान में होते हैं? जाहिर है कि सब पैसों की माया है। पैसा फेंको, तमाशा देखो...यदि वाकई ऐसा न होता तो न तो न्यूजीलैंड के खिलाड़ी टिम साउदी मैदान के बाहर जाकर छक्के के लिए जा रहा कैच न उछालते, और न करुण नायर उसे लपकते...और न कभी सरदार हरभजन सिंह के बल्ले से 24 गेंदों में आतिशी 64 रन निकलते...

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