इंदौर। देश के अन्य क्रिकेट स्टेडियमों से छोटे मैदान के कारण बल्लेबाजों को लुभाने वाले होलकर स्टेडियम से दिलचस्प संयोग जुड़ा है कि आईपीएल मैचों के दौरान यहां दूसरी पारी में लक्ष्य का पीछा करने वाली टीम ही जीतती है। यह संयोग मौजूदा आईपीएल सत्र के दौरान इस स्टेडियम में खेले गए तीनों मैचों में कायम रहा।
इस बार किंग्स इलेवन पंजाब ने मोहाली के बाद इंदौर को अपना दूसरा घरेलू मैदान बनाया था। पंजाब ने शहर के होलकर स्टेडियम में तीन मैच खेले, जिनमें से दो मुकाबलों में उसे जीत हासिल हुई। राइजिंग पुणे सुपरजाइंट के खिलाफ यहां आठ अप्रैल को खेले गए मैच में पंजाब ने टॉस जीतकर राइजिंग पुणे सुपरजाइंट को पहले बल्लेबाजी का न्योता दिया। पुणे को 163.6 पर रोकने के बाद पंजाब ने छह गेंद शेष रहते चार विकेट खोकर विजयी लक्ष्य हासिल कर लिया।
इसके बाद पंजाब की रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुर (आरसीबी) से 10 अप्रैल को इसी स्टेडियम में भिड़ंत हुई। इस मैच में आरसीबी ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी का फैसला किया और तय 20 ओवरों में चार विकेट खोकर 148 रनों का स्कोर खड़ा किया। पंजाब ने 33 गेंदें बाकी रहते विजयी लक्ष्य हासिल किया और आरसीबी को आठ विकेट से मात दे दी।
होलकर स्टेडियम में कल 20 अप्रैल को खेले गए आईपीएल मैच में मुंबई इंडियंस ने पंजाब के बनाए 198.4 रनों के स्कोर का पीछा करते हुए 27 गेंदें शेष रहते आठ विकेट से जीत हासिल कर ली। मुंबई इंडियंस ने टॉस जीतकर पंजाब को बल्लेबाजी का न्योता दिया था। आंकड़े बताते हैं कि होलकर स्टेडियम में बाद में बल्लेबाजी करने वाली टीमों को वर्ष 2011 के आईपीएल सत्र में भी सफलता मिली थी।
होलकर स्टेडियम में 13 मई 2011 को खेले गए आईपीएल मैच में किंग्स इलेवन पंजाब ने टॉस जीतकर कोच्चि टस्कर्स केरल (केटीके) को पहले बल्लेबाजी के लिए आमंत्रित किया। केटीके के 178.7 के स्कोर का पीछा करने उतरे पंजाब ने विजयी लक्ष्य हासिल कर विपक्षी टीम को छह विकेट से हराया था।
इस स्टेडियम में 15 मई 2011 को केटीके ने टॉस जीतकर राजस्थान रॉयल्स को पहले बल्लेबाजी के लिए बुलाया था। रॉयल्स की पूरी पारी को महज 97 रनों पर समेटकर केटीके ने मात्र 7.2 ओवरों में दो विकेट खोकर विजयी लक्ष्य प्राप्त कर लिया था।