आईपीएल-2 में अपनी गेंदबाजी के बल पर धूम मचा रहे डेक्कन चार्जर्स के रुद्रप्रताप सिंह का मानना है कि भारतीय पिचें भी तेज गेंदबाजों के लिए मददगार होनी चाहिए।
रुद्रप्रताप ने कहा- 'आईपीएल के लिए अप्रैल-मई का समय निर्धारित है और उस समय हम गेंद को बमुश्किल स्विंग करवा पाते हैं और पिच से भी कोई मदद नहीं मिल पाती है। यदि संबंधित लोग पिच पर थोड़ी घास छोड़ें तो गेंदबाजों को मदद मिलने की संभावना रहेगी। घास के नहीं होने के कारण तो गेंदबाजों के लिए कुछ बचता ही नहीं है।'
आरपी की बात का डेक्कन चार्जर्स के कप्तान एडम गिलक्रिस्ट ने समर्थन करते हुए कहा कि यदि गेंद और बल्ले के बीच उचित संघर्ष होगा तो ही खेल सफल होगा। कोई भी दर्शक नहीं चाहेगा कि हर समय गेंदबाज पिटते रहें, उनके लिए भी पिच में कुछ तो होना चाहिए। जैसा इस समय दक्षिण अफ्रीकी पिचों में देखने को मिल रहा है, जहाँ स्पिनर भी सफल हो रहे हैं।
आरपी ने कहा कि यदि गेंदबाज थोड़े सफल होंगे तभी ट्वेंटी-20 मैच में रोचकता बनी रहेगी। सभी जानते हैं कि टी-20 का मतलब रनों की बारिश होता है, कोई भी यह देखने नहीं आता है कि कोई टीम 70-80 रनों पर आउट हो जाए। इसके बावजूद गेंदबाजों को भी पिच से थोड़ी सहायता तो मिलनी ही चाहिए।
रुद्र का यह भी मानना है क्रिकेट के इस प्रारूप में गेंदबाज को थोड़ा लाभ तो इस तरीके से मिल जाता है कि बल्लेबाज टेस्ट या एक दिवसीय मैच की तुलना में इसमें ज्यादा जोखिम उठाते हैं।