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हरभजन पर पाँच वनडे का प्रतिबंध

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मुंबई (भाषा) , बुधवार, 14 मई 2008 (19:07 IST)
क्रिकेट बोर्ड ने भारतीय टीम के अपने साथी एस श्रीसंथ को थप्पड़ मारने के लिए हरभजनसिंह पर पाँच एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय मैचों का प्रतिबंध लगाते हुए इस तुनकमिजाज ऑफ स्पिनर को भविष्य में दुर्व्यवहार करने पर आजीवन प्रतिबंध लगाने की चेतावनी दी।

बीसीसीआई द्वारा नियुक्त आयुक्त सुधीर नानावटी के बोर्ड को 14 पृष्ठ की रिपोर्ट सौंपने के एक दिन बाद शरद पवार के नेतृत्व वाली अनुशासनात्मक समिति ने हरभजन पर यह प्रतिबंध लगाया। प्रतिबंध के कारण यह ऑफ स्पिनर बांग्लादेश में होने वाली पूरी त्रिकोणीय श्रृंखला और पाकिस्तान में होने वाले एशिया कप के पहले दो मैचों में नहीं खेल पाएगा।

लेवल चार के अपराध के चलते पहले ही मौजूदा इंडियन प्रीमियर लीग में खेलने के लिए प्रतिबंधित और मैच फीस के तीन करोड़ रुपए गँवाने वाले 27 वर्षीय हरभजन को अनुशासनात्मक समिति ने मोहाली में 25 अप्रैल को आईपीएल मैच के बाद हुई इस घटना के संबंध में उनका पक्ष जानने के लिए बुलाया था।

समिति की सुनवाई के बाद बीसीसीआई ने एक बयान में कहा कि समिति ने हरभजन को पाँच एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय मैचों के लिए प्रतिबंधित करने का फैसला किया जो आज से लागू होगा। इसके अलावा भविष्य में दुर्व्यवहार पर उन पर आजीवन प्रतिबंध लगाया जाएगा।

पवार ने संवाददाताओं से कहा कि समिति ने बीसीसीआई नियमावली का नियम 3.2.1 लगाया है जो खिलाड़ियों, टीम अधिकारियों, मैनेजरों, अंपायरों और प्रशासकों से जुड़ा है। इसके मुताबिक खिलाड़ी को अधिकतम पाँच एकदिवसीय या तीन टेस्ट मैचों के प्रतिबंध की सजा हो सकती है।

उन्होंने कहा कि रिपोर्ट की एक प्रति हरभजन को भी दी गई। समिति ने सजा सुनाने से पहले हरभजन का पक्ष भी सुना। बोर्ड ने कहा कि खिलाड़ी ने संबंधित मुद्दे पर अपना दोष स्वीकार कर लिया है। उसने नरमी बरतने का आग्रह किया और समिति को आश्वासन दिया कि भविष्य में उसकी ओर से कोई दुर्व्यवहार नहीं किया जाएगा।

पवार और समिति के अन्य सदस्यों भावी अध्यक्ष शशांक मनोहर और उपाध्यक्ष चिरायू अमीन ने थप्पड़ विवाद पर सौंपी गई नानावटी रिपोर्ट पर चर्चा के लिए क्रिकेट सेंटर में बैठक की।

प्रतिबंध के तुरंत प्रभाव से लागू होने के कारण इस ऑफ स्पिनर को बांग्लादेश में आठ से 14 जून तक होने वाली पूरी त्रिकोणीय श्रृंखला और पाकिस्तान में 24 जून से छह जुलाई तक होने वाले एशिया कप के पहले दो मैचों में बाहर बैठना होगा। बोर्ड ने श्रीसंथ को भी अपना रवैया सुधारने को कहा।

बोर्ड सचिव निरंजन शाह ने कहा अनुशासनात्मक समिति ने श्रीसंथ पर भी चर्चा की। उसे काफी सुधार करना होगा और अगर भविष्य में वह ऐसा व्यवहार दोहराता है तो उससे कड़ाई से निपटा जाएगा।

यह पूछने पर कि प्रतिबंध के प्रति हरभजन की प्रतिक्रिया कैसी थी शाह ने कहा वह ठीक था। उसे पता था कि वह दोषी है और बीसीसीआई ने उसे चेतावनी भी दी है कि अगर भविष्य में वह दुर्व्यवहार की किसी घटना में लिप्त पाया गया तो उस पर आजीवन प्रतिबंध लगा दिया जाएगा।

आईपीएल में मुंबई इंडियन्स की ओर से खेल रहे हरभजन ने 25 अप्रैल को मोहाली में किंग्स इलेवन पंजाब के खिलाफ मैच खत्म होने के बाद राष्ट्रीय टीम के अपने साथी श्रीसंथ को थप्पड़ जड़ दिया था।

मुकेश अंबानी की मुंबई फ्रेंचाइजी द्वारा नीलामी में तीन करोड़ 40 लाख रुपए में खरीदे गए इस ऑफ स्पिनर पर इसके बाद आईसीसी की आचार संहिता के लेवल 4.2 के उल्लंघन करने के लिए आईपीएल के बाकी मैचों में खेलने पर प्रतिबंध लगा दिया गया था। इसके अलावा उन्हें मैच फीस के लगभग तीन करोड़ रुपए भी गँवाने पड़े।

लेवल चार के अपराध पर अधिकतम आजीवन प्रतिबंध के अलावा कम से कम पाँच टेस्ट या दस एकदिवसीय मैचों का प्रतिबंध लगाया जाता है। लेकिन इस मामले में बोर्ड ने अपने नियमों से चलते हुए हरभजन पर बीसीसीआई की नियमावली का नियम 3.2.1 लगाया।

श्रीसंथ को भी मैदान पर आक्रामक बर्ताव के लिए फटकार लगाई गई। उन्हें यह भी कहा गया कि उनके आचरण को गंभीरता से लिया जाएगा। हरभजन को नहीं रोकने के लिए मुंबई इंडियन्‍स के मैनेजर लालचंद राजपूत पर भी मैच फीस का 50 प्रतिशत जुर्माना लगाया गया।

बीसीसीआई ने नानावटी की नियुक्ति से पहले हरभजन को उनके आचरण के लिए कारण बताओ नोटिस भी जारी किया था। हरभजन और श्रीसंथ शुक्रवार को सुनवाई के लिए नानावटी के समक्ष पेश हुए थे।

बैठक में नानावटी ने हरभजन से करीब सवा घंटे बात की और आधा घंटा श्रीसंथ के साथ बिताया। नानावटी ने अपनी रिपोर्ट तैयार करने से पहले मैच रैफरी फारूख इंजीनियर और अंपायर अमीश साहेबा से भी बात की थी।

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