नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने 5 राज्यों में दूरसंचार नेटवर्क और सड़क संपर्क से वंचित 44 जिलों के 7287 पिछड़े एवं जनजातीय गावों में 4 जी नेटवर्क सुविधाएं पहुंचाने के लिए बुधवार को 6466 करोड़ रुपए की योजना को मंजूरी दी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में यहां हुई केन्द्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में लिए गए इस निर्णय की जानकारी देते हुए सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने बताया कि इस योजना के तहत इन गावों में दूरसंचार टॉवर के निर्माण के साथ-साथ 5 साल के लिए परिचालन खर्च का भी प्रावधान शामिल है। इस योजना में जिन पांच राज्यों के आकांक्षी जिलों को फायदा होगा उनमें आंध्रप्रदेश, छत्तीसगढ़, झारखंड, महाराष्ट्र और ओडिशा शामिल हैं।
ठाकुर ने कहा कि यह राशि दूरसंचार विभाग के सर्वत्र सेवा दायित्व कोष यूएसओ कोष से प्रदान की जाएगी। यह कोष निजी क्षेत्र की दूरसंचार कंपनियों से विशेष शुल्क के माध्यम से जुटाया जाता है जो हर क्षेत्र में नेटवर्क के विस्तार के दायित्व को सीधे पूरा करने में समर्थ नहीं हो पाती हैं। ठेका छोड़े जाने के बाद इस परियोजना को 18 महीने में पूरा किया जाएगा। इसके लिए निविदाएं प्रतिस्पर्धी आधार पर आमंत्रित की जाएंगी।
सूचना प्रसारण मंत्री ने कहा कि मंत्रिमंडल के इस निर्णय से ऐसे जनजातीय गावों को फायदा होगा जहां अभी तक सड़क या दूरसंचार संपर्क नहीं पहुंचा है और जो जंगलों से घिरे हैं।
उन्होंने कहा कि नेटवर्क के बढ़ने से इन गावों को फोन के साथ साथ ई-प्रशासन की सुविधा का भी लाभ होगा। सरकार ने यह फैसला आदिवासी नेता और स्वतंत्रता सेनानी बिरसा मुंडा की जयंती को जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाने के निर्णय के ठीक बाद लिया है।