Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia

आज के शुभ मुहूर्त

(पंचमी तिथि)
  • तिथि- कार्तिक शुक्ल पंचमी
  • शुभ समय- 6:00 से 9:11, 5:00 से 6:30 तक
  • व्रत/मुहूर्त-पांडव पंचमी, ज्ञान पंचमी, गुरु गोविंद सिंह पुण्य.
  • राहुकाल- दोप. 12:00 से 1:30 बजे तक
webdunia
Advertiesment

दरिद्रता, भय और विपत्ति दूर करता है पवित्र 'णमोकार महामंत्र'

हमें फॉलो करें दरिद्रता, भय और विपत्ति दूर करता है पवित्र 'णमोकार महामंत्र'
* जैन धर्म का पवित्र और अनादी मंत्र है णमोकार महामंत्र  
 
णमोकार महामंत्र को जैन धर्म का परम पवित्र और अनादि मूल मंत्र माना जाता है। इसमें किसी व्यक्ति का नहीं, किंतु संपूर्ण रूप से विकसित और विकासमान विशुद्ध आत्मस्वरूप का दर्शन, स्मरण, चिंतन, ध्यान एवं अनुभव किया जाता है। इसलिए यह अनादि और अक्षयस्वरूपी मंत्र है।

यह लोकोत्तर मंत्र है। यह मंत्र णमोकार मंत्र बहुत आत्म-सहायक है। आत्म विशुद्धि और मुक्ति के लिए नियमित रूप से णमोकार मंत्र का जाप करना चाहिए।
 
लौकिक मंत्र आदि सिर्फ लौकिक लाभ पहुंचाते हैं, किंतु लोकोत्तर मंत्र लौकिक और लोकोत्तर दोनों कार्य सिद्ध करते हैं। इसलिए णमोकार मंत्र सर्वकार्य सिद्धिकारक लोकोत्तर मंत्र माना जाता है। णमोकार-स्मरण से अनेक लोगों के रोग, दरिद्रता, भय, विपत्तियां दूर होने की अनुभव सिद्ध घटनाएं सुनी जाती हैं। 
 
मन चाहे काम आसानी से बन जाने के अनुभव भी सुने हैं। अतः यह निश्चित रूप में माना जा सकता है कि णमोकार मंत्र हमें जीवन की समस्याओं, कठिनाईंयों, चिंताओं, बाधाओं से पार पहुंचाने में सबसे बड़ा आत्म-सहायक है। इसलिए इस मंत्र का नियमित जाप करना बताया गया है। 
 
सर्वकार्य सिद्धिकारक हैं णमोकार महामंत्र 
 
णमो अरिहंताणं,
णमो सिद्धाणं,
णमो आयरियाणं,
णमो उवज्झायाणं,
णमो लोए सव्व साहूणं,
 
एसो पंच णमोक्कारो, सव्व पाव-प्पणासणो।
मंगलाणं च सव्वेसिं, पढमं हवइ मंगलं॥
 
अरिहंतो को नमस्कार।
सिद्धों को नमस्कार।
आचार्यों को नमस्कार।
उपाध्यायों को नमस्कार।
सर्व साधुओं को नमस्कार।
 
ये पांच परमेष्ठी हैं। इन पवित्र आत्माओं को शुद्ध भावपूर्वक किया गया यह पंच नमस्कार सब पापों का नाश करने वाला है। संसार में सबसे उत्तम मंगल है।
 
इस मंत्र के प्रथम पांच पदों में 35 अक्षर और शेष दो पदों में 33 अक्षर हैं। इसतरह कुल 68 अक्षरों का यह महामंत्र समस्त कार्यों को सिद्ध करने वाला व कल्याणकारी अनादि सिद्ध मंत्र है। इसकी आराधना करने वाला स्वर्ग और मुक्ति को प्राप्त कर लेता है।
 
- धीरज नाहटा  

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

आज का दिन क्या लाया है आपके लिए, पढ़ें राशिफल...