बच्चों आकाश में चाँद को देखना आपको कैसा लगता है? क्या चाँद को देखकर उसके पास जाने की इच्छा आपके मन में होती है?अगर चंद्रमा पर जाने की इच्छा है तो हम आपको देते हैं कुछ टिप्स। यदि आप चंद्रमा पर कार से जाएँगे तो लगातार चलने पर पूरे 130 दिनों के बाद चंद्रमा पर पहुँच जाएँगे। 130 दिन चाँद पर जाने में और 130 दिन लौटकर आने में लगेंगे। यानी की पूरे 260 दिनों तक आपको सफर करना होगा। अब आप 260 दिन आने-जाने में लगा देंगे तो कुछ दिन वहाँ रुकेंगे भी। इसके लिए आपको पूरे एक साल स्कूल से छुट्टी लेनी होगी।
लगता है, कार से जाने का आइडिया आपको पसंद नहीं आया। कोई बात नहीं, हम आपको एक आसान तरीका बताते है। आप रॉकेट से चाँद पर जाएँगे तो केवल 13 घंटे में वहाँ पहुँच जाएँगे।
अगर सूरज की किरणों में हमारी गाडि़यों की तरह कोई सीट होती और हम उस पर बैठकर चंद्रमा तक जा सकते तो केवल 1.52 सेकेंड्स में चंद्रमा तक पहुँच जाते।
यह तो हुई चंद्रमा तक जाने की बात। जरा सोचिए कि चंद्रमा पर जाने के लिए आप कौन-से कपड़े अपने साथ रखेंगे। अगर आपको लगता है कि वहाँ आप अपनी जीन्स, टी-शर्ट और कैप्री पहनकर काम चला लेंगे तो एक बार फिर से सोचिए।
दिन में चंद्रमा का तापमान 100 डिग्री सेल्सियस और रात में -173 डिग्री सेल्सियस होता है। अब बताइए कौन-से कपडे़ पहनेंगे, जो आपको दिन की गर्मी में राहत और रात की ठंड में गर्माहट दें। जीन्स और कैप्री नहीं, चाँद पर केवल स्पेस सूट ही पहना जा सकता है।
हमेशा रहेंगे पैरों के निशान...
इस धरती पर हम रोजाना कितना चलते हैं पर हमारे पैरों के निशान केवल कुछ मिनटों में ही मिट जाते हैं। आप चाँद पर चलेंगे तो वहाँ आपके पैरों के निशान लाखों साल तक बने रहेंगे। नील आर्मस्ट्रांग के पैरों के निशान चंद्रमा पर अभी भी बने हुए हैं और कई लाख साल तक रहेंगे।
चंद्रमा पर न पर्यावरण है, न पानी। न ही वहाँ पृथ्वी की तरह कोई सफाई करने आता है। फिर इन निशानों को भला कौन मिटाएगा।
पत्थरों का तोहफा...
जब भी हम कहीं बाहर घूमने जाते हैं तो अपने दोस्तों और रिश्तेदारों के लिए कुछ तोहफे जरूर खरीदते हैं। चाँद पर कोई मार्केट या मॉल नहीं है। न ही कोई खास फल उगते हैं, जिन्हें आप खरीद सकें। वहाँ पर आपको मिलेंगे केवल कुछ कंकर-पत्थर। पहली बार चाँद पर जाने के बाद अंतरिक्ष यात्री भी वहाँ के पत्थरों को इकट्ठा कर के पृथ्वी पर लाए थे।