नई दिल्ली। गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड (ETF) में निवेश जुलाई महीने में इससे पिछले माह की तुलना में 86 प्रतिशत बढ़कर 921 करोड़ रुपए पर पहुंच गया। सोने की कीमतें उच्चस्तर पर होने के बीच निवेशकों द्वारा अपने पोर्टफोलियो में बहुमूल्य धातुओं को जोड़ने को लेकर काफी उत्साह है, जिससे वे गोल्ड ईटीएफ में निवेश कर रहे हैं।
एसोसिएशन ऑफ म्यचुअल फंड्स इन इंडिया (एम्फी) के आंकड़ों के अनुसार इस तरह चालू साल के पहले सात माह में गोल्ड ईटीएफ में निवेश का शुद्ध प्रवाह बढ़कर 4,452 करोड़ रुपए पर पहुंच गया है।
आंकड़ों के अनुसार, निवेशकों ने जुलाई में गोल्ड ईटीएफ में शुद्ध रूप से 921 करोड़ रुपए का निवेश किया। इससे पिछले महीने यानी जून में उन्होंने गोल्ड ईटीएफ में 494 करोड़ रुपए डाले थे।
इस निवेश के बाद गोल्ड ईटीएफ के प्रबंधन के तहत परिसंपत्तियां (एयूएम) जुलाई के अंत तक 19 प्रतिशत बढ़कर 12,941 करोड़ रुपए पर पहुंच गईं, जो जून के अंत तक 10,857 करोड़ रुपए थीं।
मासिक आधार पर देखा जाए, तो निवेशकों ने जनवरी में गोल्ड ईटीएफ में 202 करोड़ रुपए डाले। फरवरी में उन्होंने इसमें 1,483 करोड़ रुपए का निवेश किया, लेकिन मार्च में उन्होंने मुनाफा काटा और 195 करोड़ रुपए की निकासी की। अप्रैल में गोल्ड ईटीएफ में शुद्ध निवेश 731 करोड़ रुपए और मई में 815 करोड़ रुपए रहा।
मॉर्निंगस्टार इंडिया के एसोसिएट निदेशक-प्रबंधक हिमांशु श्रीवास्तव ने कहा कि अमेरिकी डॉलर में कमजोरी, अमेरिका-चीन तनाव तथा कोविड-19 के मामलों में लगातार बढ़ोतरी से निवेश के सुरक्षित विकल्प के रूप में सोने की मांग बढ़ी है। इस वजह से सोना लगातार ऊंचाई पर जा रहा है।
ग्रो के मुख्य परिचालन अधिकारी (सीओओ) हर्ष जैन ने कहा कि गोल्ड ईटीएफ में निवेश बढ़ने की प्रमुख वजह यह है कि निवेशक हेजिंग के लिए सोने में पैसा लगा रहे हैं। (भाषा)