Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia

भारतीय उद्योग जगत ने जताया अंदेशा, ट्रंप टैरिफ से वैश्विक व्यापार में आ सकता है बड़ा बदलाव

भारतीय उद्योग जगत ने गुरुवार को कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के भारत पर 27 प्रतिशत जवाबी शुल्क की घोषणा से वैश्विक व्यापार और विनिर्माण मूल्य श्रृंखलाओं में एक बड़ा बदलाव आएगा।

Advertiesment
हमें फॉलो करें Donald Trump

वेबदुनिया न्यूज डेस्क

, गुरुवार, 3 अप्रैल 2025 (15:15 IST)
Trump tariffs: उद्योग जगत (Industry) ने गुरुवार को नई दिल्ली में कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) के भारत पर 27 प्रतिशत जवाबी शुल्क (tariff) की घोषणा से वैश्विक व्यापार और विनिर्माण मूल्य श्रृंखलाओं में एक बड़ा बदलाव आएगा। हालांकि देश की मजबूत अर्थव्यवस्था पर इसका खास असर नहीं होगा।ALSO READ: ट्रंप ने लगाया 26 फीसदी टैरिफ, क्या होगा भारत पर असर?

उद्योग जगत का मानना ​​है कि शुल्क घोषणाओं के वास्तविक प्रभाव का उचित आकलन बाद में ही होगा। राष्ट्रपति ट्रंप ने कल रात विभिन्न देशों पर शुल्क लगाए जाने की घोषणा की। इससे वैश्विक व्यापार और विनिर्माण मूल्य श्रृंखलाओं में एक बड़ा बदलाव आएगा।ALSO READ: ट्रंप टैरिफ से दुनियाभर में दहशत, किसने क्या कहा?
 
क्या बोले एसोचैम अध्यक्ष संजय नायर? : उद्योग मंडल एसोचैम के अध्यक्ष संजय नायर ने कहा कि भारत को 10 प्रतिशत बेसलाइन शुल्क के अतिरिक्त 27 प्रतिशत शुल्क दरों के बीच में रखा गया है। इसके वास्तविक प्रभाव के लिए आकलन किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि कुल मिलाकर ऐसा लगता है कि अमेरिकी बाजार में भारत की निर्यात प्रतिस्पर्धात्मकता सापेक्ष आधार पर बहुत कम प्रभावित हुई है। फिर भी हमारे उद्योग को इन शुल्क के प्रभाव को कम करने के लिए निर्यात दक्षता और मूल्य संवर्धन बढ़ाने के लिए ठोस प्रयास करने चाहिए।ALSO READ: Share bazaar: ट्रंप टैरिफ से सहमा बाजार, Sensex 1,390 अंक टूटा, Nifty भी रहा 354 अंक के नुकसान में
 
नायर ने कहा कि भारत के निरंतर आर्थिक विकास और रणनीतिक महत्व को देखते हुए, हम द्विपक्षीय व्यापार समझौते के माध्यम से अमेरिका के साथ सहयोग जारी रखने की उम्मीद कर रहे हैं। उद्योग मंडल पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष हेमंत जैन ने कहा कि भारत की मजबूत औद्योगिक प्रतिस्पर्धी स्थिति अमेरिकी शुल्क के प्रभाव को संतुलित करेगी और इसका सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) पर अल्पावधि में केवल 0.1 प्रतिशत प्रभाव पड़ेगा। हालांकि, उन्होंने कहा कि मध्यम अवधि में, जैसे ही नीति पूरी तरह से प्रभावी होगी, यह कमी दूर हो जाएगी।(भाषा)
 
Edited by: Ravindra Gupta

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

उद्धव ठाकरे बोले, मुसलमानों पर भाजपा की चिंता जिन्ना को भी शर्मिंदा कर देगी