नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) ने बहुप्रतीक्षित टेस्ट चैंपियनशिप और एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय लीग कराने पर अपनी सहमति जता दी है।
आईसीसी के वैश्विक क्रिकेट के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डेव रिचर्डसन ने शुक्रवार को इसकी पुष्टि की। टेस्ट सीरीज़ में नौ टीमें दो वर्षों की समयसीमा में घरेलू और विदेशी जमीन आधार पर छह सीरीज़ खेलेंगी।
यह टेस्ट चैंपियनशिप 2019 विश्वकप की समाप्ति के बाद शुरू होगी जिसमें अप्रैल 2021 तक शीर्ष पर रही दो टीमों के बीच चैंपियनशिप का फाइनल खेला जाएगा। वहीं वनडे लीग में पूर्णकालिक 12 क्रिकेट टीमें तथा आईसीसी वर्ल्ड क्रिकेट लीग चैंपियनशिप की विजेता टीम खेलने उतरेगी।
लीग की शुरुआत 2020 से होनी है जो टीमों के लिए आईसीसी विश्वकप में सीधे क्वालिफिकेशन का रास्ता भी तय करेगा। आईसीसी ने ऑकलैंड में हुई बोर्ड की बैठक के दौरान द्विपक्षीय क्रिकेट को और प्रभावशाली बनाने के इरादे से नौ टीमों के बीच टेस्ट लीग और 13 टीमों के बीच वनडे लीग के प्रस्ताव को अपनी स्वीकृति प्रदान की है।
वनडे लीग के पहले संस्करण में सभी टीमें चार सीरीज़ घरेलू और चार सीरीज़ विदेशी जमीन पर खेलेंगी जिसमें तीन-तीन मैच खेले जाएंगे तथा दूसरे चरण में भी सभी टीमें एक-दूसरे से मैच खेलेंगी। आईसीसी अध्यक्ष शशांक मनोहर ने कहा, मैं अपने सदस्यों को इस करार तक पहुंचने के लिए बधाई देना चाहता हूं जिसमें खेल के हित को ध्यान में रखा गया है। द्विपक्षीय क्रिकेट चुनौती नहीं है लेकिन इस दिशा में पहली बार कोई सही कदम उठाया गया है।
रिचर्डसन ने कहा, इस आईसीसी चैंपियनशिप का मतलब है कि दुनियाभर के क्रिकेट प्रशंसक हर खेल का मजा उठा पाएंगे और वनडे लीग तो आईसीसी क्रिकेट वर्ल्ड कप के लिए सीधे क्वालिफिकेशन का रास्ता भी तय करेगा। आईसीसी सदस्यों के लिए यह द्विपक्षीय अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के लिहाज़ से महत्वपूर्ण समय है।
उन्होंने कहा, दोनों क्रिकेट लीग को दो वर्ष की मेहनत और इस योजना की हर बारीकी के गहन अध्ययन के बाद अमलीजामा पहनाया गया है। आईसीसी बोर्ड के इस निर्णय के बाद अब हम लीग के पहले संस्करण के लिए इसके कार्यक्रम और अंक प्रणाली, मेजबानी और प्रतियोगिता के नियम आदि को सुनिश्चित कर सकते हैं। हमारी प्राथमिकता अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के ढांचे और खासकर टेस्ट क्रिकेट को दुनियाभर में नए स्तर तक ले जाना है। नई लीग में हर टेस्ट पांच दिनों के ही प्रारूप में खेला जाएगा।
उन्होंने कहा, हमने बोर्ड की बैठक में हमेशा ही टेस्ट क्रिकेट के भविष्य को लेकर चर्चा की और उन पहलुओं पर भी विचार किया जिससे टेस्ट क्रिकेट को भविष्य में समर्थन दिया जा सके इसमें दिन-रात्रि टेस्ट, नई तकनीक और नए देशों को टेस्ट दर्जा देना जैसे प्रयोग शामिल हैं।
रिचर्डसन ने साथ ही कहा कि बैठक के दौरान चार दिवसीय टेस्ट प्रारूप को लेकर भी चर्चा की गई जो नए देशों को टेस्ट खेलने का अवसर प्रदान कर सकता है और वे बड़े देशों के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट खेलकर दुनिया की शीर्ष नौ टीमों के करीब पहुंच सकते हैं।
इसके अलावा आईसीसी बोर्ड बैठक में कई अन्य महत्वपूर्ण निर्णय भी लिए गए। इसमें तय किया गया कि आईसीसी क्रिकेट वर्ल्ड कप क्वालिफायर मार्च 2018 में जिम्बाब्वे में खेला जाएगा। इसके अलावा आईसीसी में स्वतंत्र महिला निदेशक नियुक्त करने की प्रक्रिया पर भी सहमति जताई गई है। (वार्ता)