माउंट मोंगानुई। दुनिया के नंबर एक गेंदबाज जसप्रीत बुमराह ने इतना बुरा वक्त कभी नहीं देखा, जितना न्यूजीलैंड दौरे में देखा है। न्यूजीलैंड के खिलाफ 3 वनडे सीरीज में 1 भी विकेट न ले पाना इसका सबूत है कि फिटनेस के बाद उनकी वापसी टीम इंडिया के लिए पनौती बन गई। 64 वनडे इंटरनेशनल मैचों में 104 विकेट हासिल करने वाले बुमराह वनडे सीरीज को एक बुरे सपने की तरह जल्दी ही भूलना चाहेंगे क्योंकि पिछले 6 में से 5 मैचों में वे 1 भी विकेट नहीं ले सके हैं।
बुमराह कितने बुरे दौर से गुजर रहे हैं, इसका पता यहीं से चलता है कि वनडे सीरीज की बात छोड़िए, पिछले 6 मैचों में वह 5 मैचों में विकेट लेने के लिहाज से खाली हाथ रहे हैं। ऐसी बात नहीं थी कि विकेट बाउंसी नहीं था लेकिन उनके यॉर्कर बेअसर रहे। संभव है कि उनकी फिटनेस की समस्या फिर से खड़ी हो गई हो, जिसके कारण उनकी गेंदबाजी में वो धार नहीं थी, जो पहले हुआ करती थी।
कितने हैरत की बात है कि न्यूजीलैंड के खिलाफ वनडे सीरीज के पहले मैच (हेमिल्टन) बुमराह ने 10 ओवर में 53, ऑकलैंड में दूसरे मैच में 10 ओवर में 64 और माउंट मोंगानुई में 10 ओवर में 50 रन देकर कोई विकेट नहीं ले पाए। इससे पहले ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ जनवरी में बेंगलुरु में बुमराह को 10 ओवर में 38 रन देकर कोई विकेट नहीं मिला था।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ राजकोट के दूसरे वनडे में बुमराह को 32 रन पर एक विकेट मिला था जबकि मुंबई के पहले वनडे में वह 50 रन देकर कोई विकेट नहीं ले पाए थे। इस तरह दुनिया के नंबर एक गेंदबाज ने पिछली 2 सीरीज के 6 मैचों में मात्र 1 विकेट लिया है।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सीरीज में बुमराह ने पीठ की चोट से उबरने के बाद वापसी की थी। उन्होंने न्यूजीलैंड के खिलाफ पिछले साल एकदिवसीय विश्वकप के सेमीफाइनल में 39 रन पर 1 विकेट लिया था। इस तरह पिछले सात वनडे मैचों में उनके हिस्से में सिर्फ 2 विकेट आए हैं।
बुमराह की निराशाजनक गेंदबाजी का नुकसान टीम इंडिया को उठाना पड़ा और इसका फायदा उठाकर न्यूजीलैंड के बल्लेबाजों ने तीनों मैचों में शानदार प्रदर्शन किया। न्यूजीलैंड ने पहले मैच में भारत के 347 के स्कोर को पार किया, दूसरे मैच में 273 रन बनाकर जीत हासिल की और तीसरे मैच में भारत के 296 के स्कोर को भी पार कर दिया।