बेंगलुरू। महेंद्र सिंह धोनी के संक्षिप्त लेकिन उत्साहजनक भाषण में अपने साथी खिलाड़ियों के लिए वेस्टइंडीज दौरे से शुरू होने वाले आगामी व्यस्त कार्यक्रम से पहले बिलकुल सरल संदेश है- ‘खेलते हुए लुत्फ उठाना बहुत महत्वपूर्ण है और अगर आप एक-दूसरे का समर्थन करोगे तो अंतत: सफलता आपके कदम चूमेगी। धोनी का यह प्रोत्साहन भाषण भारतीय क्रिकेटरों के यहां कुछ संगीतकारों के साथ 45 मिनट का ‘ड्रम बोंडिंग’ सत्र का लुत्फ उठाने के बाद आया है।
भारत के सीमित ओवर की टीम के कप्तान आगामी 17 टेस्ट मैचों का हिस्सा नहीं होंगे जिसमें इस सत्र में घरेलू मैदान पर 13 टेस्ट खेले जाएंगे, लेकिन उनके शब्द कमरे में बैठे युवा खिलाड़ियों के कान में संगीत की तरह थे।
धोनी ने शुरू में कहा कि ‘हमने ड्रम सत्र के साथ 45 मिनट पहले शुरुआत की थी और हममें से ज्यादातर सहमत होंगे कि ऐसा पहली बार हुआ है जब हमने कोई भी वाद्ययंत्र बजाया है, इसलिए हम इस तरह मजा भी ले सकते हैं और क्रिकेट में भी हम लुत्फ उठा सकते हैं।
उन्होंने कहा कि हममें से ज्यादातर ने क्रिकेट खेलना तब शुरू किया जब हम पांच साल के थे। मुझे लगता है कि यही समय है जब भारतीय क्रिकेट आगे की ओर बढ़ेगा। पिछले दो-तीन साल में हम युवाओं को टेस्ट में लाने के बारे में बात कर रहे थे।
धोनी ने बाद में कहा कि अब हमारे पास टेस्ट मैचों में जमे हुए बल्लेबाज हैं, हमारे पास गेंदबाजों का पूल है। मैं सिर्फ दो या तीन बल्लेबाजों या गेंदबाजों के बारे में बात नहीं कर रहा हूं। मैं गेंदबाजों और बल्लेबाजों के पूल के बारे में बात कर रहा हूं, इसलिए आगामी चरण काफी दिलचस्प होगा।
इस पूरी बातचीत में धोनी ने दबाव भरे हालात में लुत्फ उठाने की जरूरत पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि आप सभी के लिए श्रृंखला बहुत अच्छी नहीं होगी लेकिन अगर आप इन 17 टेस्ट मैचों में एकजुट होकर रहोगे तो आप सभी सफलता हासिल करोगे। उस कार्यकाल का आनंद उठाना अहम है जो कठिन हो। जब तक आप एक इकाई के तौर पर लुत्फ नहीं उठाओगे, मुझे नहीं लगता कि आपको कोई भी रोक सकता है।
धोनी ने कहा कि इसलिए सुनिश्चित करो कि आप काफी मजा करो क्योंकि भारतीय क्रिकेट में कुछ ऐसा कि हम अकसर ऐसा नहीं करते हैं। उन्होंने कहा कि ‘हमारे लिए क्रिकेट बहुत कुछ है। हममें से ज्यादातर के लिये अगर आप अपनी व्यक्तिगत जिंदगी से क्रिकेट को बाहर निकाल दो तो ज्यादा कुछ नहीं बचेगा। लेकिन इसमें मजा करना अहम है। हमने यहां जो 45 मिनट बिताए हैं, उससे पता चलता है कि हम दुनिया में कहीं भी आनंद उठा सकते हैं। हमें सिर्फ हमारे साथ की जरूरत होती। (भाषा)