मेलबर्न। दुनिया की नंबर एक टेस्ट टीम भारत के खिलाफ सीरीज को लेकर उत्साहित ऑस्ट्रेलियाई कप्तान स्टीवन स्मिथ ने कहा है कि वे चाहते हैं कि दौरे पर मेहमान टीम के स्टार खिलाड़ी विराट को गुस्सा दिलाएं।
विराट की कप्तानी में भारतीय टीम पिछले 18 टेस्टों में अपराजेय चल रही है और टीम के खिलाड़ियों का भी प्रदर्शन बेहतरीन है। हाल ही में इंग्लैंड को भारत ने घरेलू मैदान पर पांच टेस्टों की सीरीज में 4-0 से हराया है। भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच अगले वर्ष 23 फरवरी से चार टेस्टों की सीरीज खेली जानी है जिसका पहला मैच पुणे में होगा।
फिलहाल ऑस्ट्रेलिया और पाकिस्तान के बीच घरेलू टेस्ट सीरीज चल रही है जिसमें स्मिथ की टीम 1-0 से आगे है। स्मिथ ने एबीसी ग्रैंडस्टैंड पर कहा विराट विश्व स्तरीय खिलाड़ी हैं और भारत का पिछले 18 महीने से बहुत अच्छे से नेतृत्व कर रहे हैं। उन्होंने बहुत सारे मैच जीते हैं और घरेलू मैदान पर बहुत क्रिकेट खेल रहे हैं।
उन्होंने कहा विराट मैदान पर काफी भावनाओं के साथ खेलते हैं लेकिन इसमें भी उन्होंने काफी सुधार किया है लेकिन हम एक टीम के तौर पर चाहेंगे कि उन पर मानसिक दबाव बनाएं और उन्हें मैदान पर कुछ गुस्सा दिलाएं। यदि वह मानसिक रूप से उस तरह की स्थिति में होंगे तो हमारे लिए भारतीय टीम को नियंत्रित करना शायद आसान हो जाएगा।
वैसे ऑस्ट्रेलियाई पूर्व बल्लेबाज डीन जोन्स ने स्मिथ के इस बयान पर टिप्पणी करते हुए कहा यकीन मानो की वह विराट कोहली को गुस्सा नहीं दिलाना चाहेंगे। विराट इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट सीरीज में सर्वाधिक 655 रन बनाकर 'मैन ऑफ द सीरीज' रहे थे। वहीं आईसीसी की गेंदबाजी रैंकिंग में भी भारत के दोनों स्पिनर रविचंद्रन अश्विन नंबर एक और रवींद्र जडेजा नंबर दो पर हैं।
दूसरी ओर ऑस्ट्रेलिया का प्रदर्शन स्मिथ की कप्तानी में फिलहाल कुछ खास नहीं चल रहा है और उसे श्रीलंका में 0-3 से हार झेलनी पड़ी थी। वहीं दक्षिण अफ्रीका ने उसे उसके घर में 1-2 से हराया था। स्मिथ ने कहा हमें भारत दौरे पर फरवरी में जाना है और हमें पता है कि यह बहुत ही मुश्किल दौरा होने वाला है। हमें वहां चार टेस्ट खेलने हैं और हमारी टीम के लिए खुद को साबित करने का यह अच्छा मौका होगा।
ऑस्ट्रेलियाई कप्तान ने कहा हम वहां अंडरडॉग माने जा रहे हैं और यदि हम सीरीज जीतते हैं तो यह बहुत अच्छा होगा और इससे साफ होगा कि हमारी टीम सही दिशा में आगे बढ़ रही है और पहले की तुलना में हम उपमहाद्वीपीय परिस्थितियों में ज्यादा बेहतर खेल पा रहे हैं। (वार्ता)