भारत-ऑस्ट्रेलिया प्रतिद्वंद्विता क्रिकेट के लिए अच्छी
नई दिल्ली (भाषा) , बुधवार, 28 अक्टूबर 2009 (19:59 IST)
पूर्व दिग्गज विकेटकीपर एडम गिलक्रिस्ट का मानना है कि क्रिकेट के मैदान पर भारत और ऑस्ट्रेलिया की प्रतिद्वंद्विता इस खेल के लिए अच्छी है और दोनों टीमें पिछले कुछ समय में नियमित तौर पर भिड़ी हैं।गिलक्रिस्ट ने कहा कि भारत और ऑस्ट्रेलिया की प्रतिद्वंद्विता क्रिकेट के लिए फायदेमंद है। यह एशेज या भारत और पाकिस्तान के बीच होने वाले मुकाबलों की तरह नहीं है। इसकी अपनी अलग पहचान है। उन्होंने कहा दोनों टीमों ने पिछले 10-15 साल में नियमित तौर पर एक दूसरे के खिलाफ रोमांचक श्रृंखलाएँ खेली हैं, जिसका क्रिकेट को फायदा मिला है। गिलक्रिस्ट ने ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट टीम के कप्तान रिकी पोंटिंग का समर्थन भी किया, जिनका मानना है कि लगातार क्रिकेट से खिलाड़ी थक रहे हैं और चोटिल हो रहे हैं।यहाँ वोलोनगोंग विश्वविद्यालय के प्रचार कार्यक्रम में आए गिलक्रिस्ट ने कहा कि मैं रिकी से सहमत हूँ। अंतरराष्ट्रीय कार्यक्रम काफी व्यस्त है जबकि खिलाड़ी आईपीएल और चैम्पियन्स लीग जैसे टूर्नामेंटों में भी खेल रहे हैं। ऐसे में संतुलन कायम करना काफी मुश्किल होता है। उन्होंने कहा कि पिछले साल हालाँकि हम सुरक्षा चिंताओं के कारण पाकिस्तान नहीं गए थे, जिससे इस बार अतिरिक्त मैच खेलने पड़ेंगे। अधिकांश देश आजकल अधिक क्रिकेट खेल रहे हैं, जिसका ध्यान रखना जरूरी है। गिलक्रिस्ट ने कहा कि अत्यधिक क्रिकेट के कारण ही रिकी आईपीएल से हटे। मिशेल जॉनसन ने भी ऐसा ही किया, जिससे कि अंतरराष्ट्रीय मैचों के लिए खुद को तरोताजा रख सकें। जहाँ तक चोट का सवाल है तो यह खेल का हिस्सा है।भविष्य में किसी टीम को कोचिंग देने के बारे में पूछने पर गिलक्रिस्ट ने ऐसी किसी संभावना से इंकार कर दिया। उन्होंने मजाकिया लहजे में कहा फिलहाल तो मैं सिर्फ अपने बेटे को कोचिंग दे रहा हूँ। किसी टीम को कोचिंग देना मेरी योजनाओं में शामिल नहीं है। इसके पीछे कई कारण है, लेकिन मैं किसी न किसी रूप में क्रिकेट से जुड़े रहना पसंद करूँगा। मैं डेक्कन चार्जर्स के साथ अधिक से अधिक समय तक जुड़ा रहना चाहता हूँ।गिलक्रिस्ट ने स्वीकार किया कि ट्वेंटी-20 की लोकप्रियता ने क्रिकेट का चेहरा बदला है लेकिन इससे टेस्ट क्रिकेट को खतरा नहीं है। एकदिवसीय क्रिकेट में विकेटकीपर के तौर पर सर्वाधिक 472 शिकार बनाने वाले इस क्रिकेटर ने कहा मेरा मानना है कि आज भी अधिकतर क्रिकेटर यही कहेंगे कि टेस्ट क्रिकेट ही सर्वोच्च है। टी-20 की बढ़ती लोकप्रियता को लेकर चिंतित होने की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा लगभग 30 साल पहले जब एकदिवसीय क्रिकेट की शुरुआत हुई थी तब भी लोगों ने टेस्ट क्रिकेट के खत्म होने की आशंका जताई लेकिन आज 30 साल बाद भी टेस्ट क्रिकेट बरकरार है। आजकल टी-20 फलफूल रहा है लेकिन टेस्ट क्रिकेट को खतरा नहीं है। उन्होंने साथ ही कहा कि टेस्ट क्रिकेट देखने भले ही दर्शक मैदान में नहीं आ रहे हों लेकिन टेलीविजन, मोबाइल और इंटरनेट के जरिये आज भी क्रिकेटप्रेमी इसके संपर्क में रहते हैं।