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क्वात्रोच्चि मुद्‍दा खत्म हुआ-राहुल

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हमें फॉलो करें बोफोर्स घोटाला
नई दिल्ली (भाषा) , मंगलवार, 5 मई 2009 (21:55 IST)
ओत्तावियो क्वात्रोच्चि मुद्दे पर विपक्ष की आलोचनाओं का सामना कर रही कांग्रेस के महासचिव राहुल गाँधी ने मंगलवार को कहा कि यह एक मृतप्राय: मुद्दा है, जिसे बार-बार हर चुनाव के पहले उठाया जाता है।

राहुल ने कहा कि शर्मिन्दगी है। बोफोर्स मुद्‍दे को लगातार उठाया जाता है। इस मुद्दे में कोई रुचि नहीं रह गई है।

उनसे सवाल किया गया था कि हर चुनाव से पहले बोफोर्स मुद्दे को लगातार क्यों उठाया जाता है और क्या यह पार्टी एवं गांधी परिवार के लिए शर्मिन्दगी का विषय है।

सीबीआई ने हाल ही में इतालवी व्यवसायी क्वात्रोच्चि का नाम रेड कार्नर नोटिस की सूची से हटा दिया था। बोफोर्स तोप सौदे में कथित दलाली के मामले में क्वात्रोच्चि आरोपी है।

प्रधानमंत्री मनमोहनसिंह ने इससे पहले कहा था कि यदि क्वात्रोच्चि के खिलाफ रेड कार्नर नोटिस नहीं हटाया जाता तो विश्व समुदाय में भारत का मजाक बनता।

इस सवाल पर कि क्या सत्ताधारी पार्टी सीबीआई का दुरुपयोग कर रही है, युवा कांग्रेस नेता ने कहा कि यह व्यवस्था से जुड़ा मुददा है और किसी एजेंसी विशेष का सवाल नहीं है।

उन्होंने कहा कि हर वह पार्टी जो सत्ता में होती है, संस्थाओं पर दबाव डाल सकती है। यह सच्चाई है। उन्होंने यह भी कहा कि हर सरकार ऐसी एजेंसियों में अपने लोगों को रखने की कोशिश करती है।

लेफ्ट देगा साथ : राहुल ने उम्मीद जताई कि वाम दल प्रधानमंत्री के रूप में मनमोहनसिंह का समर्थन करेंगे। हालाँकि उन्होंने कहा प्रधानमंत्री पद को लेकर कांग्रेस कोई समझौता नहीं करेगी।

विपक्ष में बैठेगी भाजपा : उन्होंने कहा राजग अब केवल भाजपा के मन में ही अस्तित्व रखता है। जमीनी स्तर पर वह नहीं है। उन्होंने विश्वासपूर्वक कहा कि भगवा पार्टी विपक्ष में बैठेगी।

सारे विकल्प खुले : युवा नेता ने कहा कि कांग्रेस के सामने सारे विकल्प खुले हैं। हम पिछले चुनाव से बेहतर प्रदर्शन करेंगे।

नीतीश की तारीफ : यह पूछने पर कि विकास के मोर्चे पर क्या गैरकांग्रेस सरकारें अच्छा काम नहीं कर रही हैं, राहुल ने कहा मैं चंद्रबाबू नायडू का सम्मान करता हूँ। उन्होंने अच्छा काम किया है।

हो सकता है उन्होंने अपना ध्यान सिर्फ हैदराबाद पर लगाया हो। मैं यह नहीं कह रहा हूँ कि केवल हमारे पास ही नेता हैं। विपक्ष में भी नेता हैं। उदाहरण के तौर पर नीतीश। मेरा मानना है कि उनमें काम करने की नीयत तो है।

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