निकट भविष्य में पुलिस महकमे को प्रतिनियुक्ति पर डॉक्टर व इंजीनियर मिल सकते हैं। नक्सली मोर्चे पर तैनात जवानों को बेहतर सुविधाएँ मुहैया कराने के लिए सरकार इस सुझाव पर विचार कर रही है, वहीं निर्माण कार्यों के लिए पुलिस की कंपनी बनाने का सुझाव खारिज कर दिया गया है।
मंगलवार को मुख्यमंत्री डॉ. रमनसिंह की अध्यक्षता में दो घंटे चली संयुक्त कमान की बैठक में इस पर विस्तार से चर्चा हुई। नक्सलियों से निपटने के लिए गठित संयुक्त कमान में राज्य के संबंधित विभाग और केंद्र की ओर से यहाँ तैनात सीआरपीएफ के आईजी को शामिल किया गया है।
यह एक तरह से कोर ग्रुप की तरह काम करता है। करीब दो घंटे चली बैठक में नक्सली क्षेत्रों में व्याप्त समस्याएँ दूर करने के उपायों पर चर्चा हुई। इस दौरान बताया गया कि नक्सल प्रभावित इलाकों में जवानों को नियमित चिकित्सा सुविधा नहीं मिल पाती।
मुठभे़ड़ के वक्त घायल जवानों को तत्काल उपचार की जरूरत होती है। लिहाजा, तय किया गया कि अब जरूरत पड़ने पर डॉक्टरों को हेलिकॉप्टर से मौके पर भेजा जाएगा। इसके लिए कुछ सरकारी डॉक्टरों को प्रतिनियुक्ति पर पुलिस महकमे में बुलाया जा सकता है।-नईदुनिया