महाकाल मंदिर से गैंगस्टर विकास दुबे की नाटकीय तरीके से गिरफ्तारी पर उठे सवाल,सरेंडर की थ्योरी भी आई सामने !
बाबा महाकाल का भक्त है अपराधी विकास दुबे
उत्तरप्रदेश पुलिस के मोस्ट वांटेड और कानपुर में 8 पुलिसकर्मियों की हत्या करने वाला कुख्यात अपराधी विकास दुबे आखिरकार अब सलाखों के पीछे पहुंच गया है। सात दिन से यूपी पुलिस जिस अपराधी की तलाश में पूरे देश में खाक छान रही थी उसको बड़े ही नाटकीय अंदाज में उज्जैन के महाकाल मंदिर परिसर से गिरफ्तार कर लिया गया है।
मध्यप्रदेश सरकार ने कुख्यात अपराधी विकास दुबे की गिरफ्तारी का दावा किया हैं लेकिन इस दावे में कितनी सच्चाई है इस पर सवाल उठने लगे है। महाकाल मंदिर से जुड़े सूत्र बताते हैं कि विकास दुबे बड़े आराम से महाकाल मंदिर पहुंचा और खुद अपनी पहचान उजागर करते हुए अपनी गिरफ्तारी दी। खुद विकास दुबे ने भी चिल्ला-चिल्ला कर बताया कि मैं विकास दुबे हूं कानपुर वाला ।
महाकाल का भक्त है विकास दुबे - 60 जघन्य अपराधों का मास्टर माइंड विकास दुबे का ये बयान कि मैं विकास दुबे हूं कानपुर वाला। इस बात के साफ संकेत हैं कि उनसे बकायदा प्लानिंग कर एक तरह से उसने खुद को महाकाल मंदिर में सरेंडर कर दिया। बताया जा रहा हैं कि अपराधी विकास दुबे बाबा महाकाल का भक्त हैं और वह जिस दुबे गैंग का संचालन करता था उसकी गाड़ियों पर जय श्री महाकाल लिखा होता था। सूत्र बताते हैं कि विकास दुबे अपनी गैंग के सथियों के साथ बराबर बाबा महाकाल के दर्शन करने आता था और गिरफ्तारी से पहले भी उसके बाबा महाकाल के दर्शन कर लिए थे।
नाटकीय अंदाज में गिरफ्तारी पर उठे सवाल – गैंगेस्टर विकास दुबे की गिरफ्तारी के बाद अब सियासत भी तेज हो गई है। प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने ट्वीट करते हुए लिखा कि यह तो उत्तरप्रदेश पुलिस के एनकाउंटर से बचने के लिए प्रायोजित सरेण्डर लग रहा है। मेरी सूचना है कि मध्यप्रदेश भाजपा के एक वरिष्ठ नेता के सौजन्य से यह संभव हुआ है। जय महाकाल। इसके साथ कांग्रेस मीडिया सेल के इंचार्ज और पूर्व मंत्री जीतू पटवारी ने भी विकास दुबे की गिरफ्तारी को लेकर सरकार पर तंज कसा है।
वहीं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने विकास दुबे की गिरफ्तारी को लेकर कहा कि उज्जैन पुलिस ने बड़ी कार्रवाई का दुर्दांत अपराधी विकास दुबे को गिरफ्तार कर लिया है। उन्होंने मध्यप्रदेश पुलिस को बधाई देते हुए कहा कि वह सुबह से यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के संपर्क में है और आगे की कार्रवाई के लिए इसे यूपी पुलिस को सौंपा जाएगा।