संपादक
जयप्रकाश कर्दम
कार्यालय
बी-634, डी.डी.ए. फ्लैट्स, ईस्ट ऑफ लोनी रोड, दिल्ली-110093
दूरभाष- 011-228114887
संपादकीय
साहित्य
दलित साहित्य : नई सदी के दहलीज पर - डॉ. शरणकुमार लिंबाले
दलित कविता : प्रतिक्रान्ति का स्वर - कंवल भारती
प्रेमचंद : दलित विमर्श के संदर्भ में - ओमप्रकाश वाल्मीकि
दलित कथाकारों में बँटवारे की रणनीति - मोहनदास नैमिशरण
नई शताब्दी में मोहनदास नैमिशरण का साहित्य - शीलबोधि
पंजाबी उपन्यास में दलित जीवन का यथार्थ - प्रो. चमन लाल
हिन्दी दलित कथा साहित्य की सामाजिकता - हेमलता महीश्वर
दिंी नवजागरण एवं दलित चेतना का स्वरूप - डॉ. निरंजन कुमार
दलित आत्मकथा में भूख की बड़वाग्नि - डॉ. टी.वी. कट्टीमनी
मलयालम की दलित कविता का सच - सोलजी
आदिवासी मुक्ति की साहित्यिक अभिव्यक्ति : कोच्चरेत्ती - डॉ. आर. शशिधरन
ब्राह्मण और उसके ग्लेच्छ - प्रो. हेंज वर्नर वेसलर
चिंतन
भाषिक शिष्टता के नमूने? - डॉ. धर्मवीर
आर्यवादी निर्वचन के तीन नमूने - डॉ. राजेन्द्र प्रसाद सिंह
दलित के विभेदकारी तत्व और जातिव्यवस्था - नरेंद्र पुण्डरीक
जाति-व्यवस्था और परिवर्तन का सवाल - गुलाब सिंह
जाति, धर्म और दलित धर्म - अजय नावरिया
धर्म, दलित और मौलिकता - रमणिका गुप्ता
धार्मिक विभ्रम में दलित - रघुवीर सिंह
दलित उत्थान : कुछ भावी रणनीतियाँ - डॉ. एन. सिंह
दलित आंदोलन : शंका और समाधान - उदय राज कर्दम
विकास के नाम पर - संदीप तोमर
शक : उत्पत्ति, प्राचीनता एवं नागों से संबंध - डॉ. अवन्तिकाप्रसाद मरमट
अस्पृश्यता और जातिवाद का उद्भव - राधाचरण विद्यार्थी
स्वतंत्रता संग्राम में दलितों का योगदान - माता प्रसाद
बौद्ध धर्म और राष्ट्रवाद - डॉ. एन.जे. वाघमारे
दलित मसीहा विष्णु प्रसाद रामा - डॉ. श्रीधारी दोसाद
रावण दहन का औचित्य? - अश्विन प्रजापति
कहानी
क्या करे लड़की - डॉ. श्यौराज सिंह 'बेचैन'
पुन्य-स्मृति - मुकेश मानस
धोखा - रजत रानी 'मीनू'
रात्रि भोज - उमेश कुमार सिंह
हमला - कालीचरण प्रेमी
प्याऊ - डॉ. पूरन सिंह
मोहरा - आलोक कुमार सातपुते
झंझट - श्यामनारायण कुन्दन
खबर - पूनम कुमारी
फिर वही अंधेरिया रात - विकास कुमार
गिरफ्तार - महेश कुमार केशरी 'राज'
बेस्ट ऑफ करवाचौथ - रजनी तिलक
प्रश्न - उर्मिला पवार
आत्मकथांश
मेरी दादी - एक इतिहास बलवीर माधोपुरी
कविताएँ
सूरजपाल चौहान
सतनाम सिंह
नीलम कुमारी
राकेश प्रियदर्शी
मुसाफिर बैठा
गुरु प्रसाद मदन
सीमा मालवीय
राजेश कुमार बौद्ध
भीमराव गणवीर
कृष्ण 'परख'
लक्ष्मीनारायण सुधाकर
रेड इण्डियन कविताएँ
समीक्षा
इक्कीसवीं सदी में 'वाल्मीकि प्रकाश' - डॉ. सुशील टाकभौरे
सत्य को बचाने का प्रयास : दोहरा अभिशाप - कर्मशील भारती
अभी वक्त है... (कविता संग्रह) - महेश मधुकर
रचनाकारों के पते
मूल्य :- 70/-