Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

मदर्स डे पर छोटी सी कविता : ईश्वरी माटी से गढ़ी मां

हमें फॉलो करें मदर्स डे पर छोटी सी कविता : ईश्वरी माटी से गढ़ी मां
-बबीता कड़ाकिया
 
ईश्वरी माटी से गढ़ी मां
आपके कहे अनुसार मां को
चार पंक्तियों में समेट कर लाई हूं,
चारों दिशा, चारों धाम,
जन्नत की सैर कर आई हूं ,
ईश्वरीय अनुपम मिट्टी से गढ़ी
कायनात की अनोखी कृति मेरी ‘मां’
उसके चरणों तले, स्नेह से पगी हुई
हर पल जिए जा रही हूं ‘मैं’... 

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

गर्मी की छुट्टियों में स्विमिंग सीख रहे हैं? तो ये रहे 10 काम के टिप्स