Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

अमित शाह बने भाजपा के अध्यक्ष

हमें फॉलो करें अमित शाह बने भाजपा के अध्यक्ष
नई दिल्ली , बुधवार, 9 जुलाई 2014 (13:12 IST)
FILE
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के सबसे करीबी माने जाने वाले अमित शाह भाजपा के नए अध्यक्ष होंगे। पार्टी ने इस संबंध में बुधवार को शाह के नाम पर अपनी मुहर लगा दी है। शाह अब राजनाथसिंह का स्थान लेंगे, जो केन्द्र में गृहमंत्री बन चुके हैं।

निवर्तमान पार्टी अध्यक्ष राजनाथसिंह ने अमित शाह के नाम की घोषणा की। प्रेस कॉन्फ्रेंस में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, राजनाथसिंह, अमित शाह, लालकृष्ण आडवाणी, नितिन गडकरी भी मौजूद थे। राजनाथसिंह ने कहा कि मैंने संसदीय बोर्ड को अपना इस्तीफा सौंप दिया है और बोर्ड ने सर्वसम्मति से शाह को पार्टी अध्यक्ष बनाने का फैसला किया।

शाह की तारीफ की करते हुए राजनाथसिंह ने कहा कि शाह के नेतृत्व में भाजपा को यूपी में जो सफलता मिली, वह ऐतिहासिक है। उन्होंने शाह के मैनेजमेंट की भी प्रशंसा की।

कौन हैं अमित शाह... पढ़ें अगले पेज पर...


प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के सबसे करीबी और पार्टी महासचिव अमित शाह भगवा पार्टी के नए अध्यक्ष बन गए हैं। दूसरे शब्दों में कहें तो अब सत्ता और संगठन पर नरेन्द्र मोदी का पूरा कब्जा हो गया है। गुजरात के चिकागो में एक बड़े व्‍यवसायी अनिलचंद्र शाह के घर 1964 को जन्‍मे अमित शाह किसी समय लालकृष्‍ण आडवाणी के सबसे करीबी माने जाते थे। अपनी प्रारंभिक शिक्षा प्राप्‍त करने के बाद वे अपने पिता के घरेलू व्‍यवसाय में जुड़ गए।

कुछ समय तक स्‍टॉक ब्रोकर का भी कार्य करने के बाद वे आरएसएस से जुड़ गए और उसके साथ ही बीजेपी के सक्रिय सदस्‍य भी बन गए। इसी दौरान भाजपा के वरिष्‍ठ नेता लालकृष्‍ण आडवाणी गांधीनगर लोकसभा सीट का प्रतिनिधित्‍व कर रहे थे। अमित शाह उसी दौरान उनके करीब आए और गांधीनगर क्षेत्र में चुनाव के दौरान उनके साथ प्रचार-प्रसार किया।

अमित शाह सबसे कम्र उम्र के गुजरात स्‍टेट फाइनेंस कॉर्पोरेशन लिमिटेड के अध्‍यक्ष बने। इसके बाद वे अहमदाबाद जिला कॉर्पोरेट बैंक के चेयरमैन बने। 2003 में जब गुजरात में दुबारा नरेन्‍द्र मोदी की सरकार बनी तब नरेन्‍द्र मोदी ने उन्‍हें राज्‍य मंत्रिमंडल में शामिल कर लिया और उन्‍हें गृह मंत्रालय सहित कई अहम जिम्‍मेदारियां सौंपीं। शाह 1997 में पहली बार विधायक बने और वर्तमान में गुजरात के नारणपुर से विधायक हैं। वे गुजरात शतरंज संघ के अध्यक्ष भी हैं।

वर्ष 2004 में केंद्र सरकार द्वारा आतंकवाद की रोकथाम के लिए बनाए गए आतंकवाद निरोधक अधिनियम के बाद अमित शाह ने राज्‍य विधानसभा में गुजरात कंट्रोल ऑफ ऑर्गेनाइज क्राइम (संशोधित) बिल पेश किया तो इसका राज्‍य विपक्ष ने बहिष्कार किया था।

2008 में अहमदाबाद में हुए बम ब्‍लास्‍ट मामले को 21 दिनों के अंदर सुलझाने में उन्होंने महत्‍वपूर्ण भूमिका निभाई। इस बम ब्‍लास्‍ट में 56 लोगों की मृत्‍यु हो गई थी और 200 से ज्‍यादा लोग जख्‍मी हो गए थे। उन्‍होंने राज्‍य में और बम ब्‍लास्‍ट करने के इंडियन मुजाहिदीन के नेटवर्क के मंसूबे को भी खत्‍म किया।

अमित शाह पर 2005 में सोहराबुद्दीन शेख का फर्जी एनकाउंटर कराने का आरोप भी लगा और इस मामले में उन्हें जेल भी जाना पड़ा था। गुजरात हाई कोर्ट तथा सीबीआई की विशेष अदालत द्वारा कई बार जमानत को खारिज करने के बाद अंतत: गुजरात हाई कोर्ट ने 2010 में उन्‍हें जमानत दे दी।

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi