नई दिल्ली। एयरलाइन कंपनियां अब हवाईअड्डे के 'चेक-इन' काउंटर पर बोर्डिंग पास जारी करने के लिए यात्रियों से अतिरिक्त शुल्क नहीं वसूल सकेंगी।इंडिगो, स्पाइसजेट और गो फर्स्ट जैसी एयरलाइंस यात्रियों द्वारा चेक-इन काउंटर पर बोर्डिंग पास की मांग करने पर 200 रुपए का शुल्क वसूल रही थीं।
नागर विमानन मंत्रालय ने गुरुवार को यह जानकारी दी। इंडिगो, स्पाइसजेट और गो फर्स्ट जैसी एयरलाइंस यात्रियों द्वारा चेक-इन काउंटर पर बोर्डिंग पास की मांग करने पर 200 रुपए का शुल्क वसूल रही थीं। मंत्रालय ने ट्वीट किया, नागर विमानन मंत्रालय के संज्ञान में आया है कि एयरलाइंस यात्रियों को बोर्डिंग पास जारी करने के लिए अतिरिक्त शुल्क ले रही हैं।
मंत्रालय ने कहा कि यह विमानन नियम, 1937 के प्रावधानों के अनुरूप जारी निर्देशों के तहत उचित नहीं है। मंत्रालय ने कहा कि इसी के अनुरूप एयरलाइंस को सलाह दी जाती है कि वे हवाईअड्डे के चेक-इन काउंटर पर बोर्डिंग पास जारी करने के लिए यात्रियों से अतिरिक्त शुल्क नहीं लें।
मंत्रालय ने 21 मई, 2020 को यात्रियों के लिए वेब चेक-इन को अनिवार्य कर दिया था। उस समय यात्रियों को बोर्डिंग पास खुद निकालना होता था इसके बाद मंत्रालय ने नौ मई, 2021 को जारी आदेश में कहा था कि एयरलाइंस यात्रियों पर समय पर वेब चेक-इन के लिए प्रोत्साहित करें और वेब चेक-इन नहीं करने वाले यात्रियों से किसी तरह का शुल्क वसूलने से बचें।
मंत्रालय ने गुरुवार को कहा कि एयरलाइंस द्वारा बोर्डिंग पास जारी करने के लिए अतिरिक्त शुल्क लेना नौ मई के आदेश के अनुरूप नहीं है।(भाषा)