नई दिल्ली। गुजरात में दलितों पर हुए हमलों को लेकर मोदी सरकार को फटकार लगाते हुए कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने बुधवार को कहा कि यह सामाजिक आतंक का एक उदाहरण है जिसे सत्तारूढ़ पार्टी ने नजरअंदाज किया है।
गुजरात में दलित गिर-सोमनाथ जिले के उना में कथित रूप से गाय की खाल उतारने को लेकर 11 जुलाई को दलित समुदाय के सदस्यों पर किए गए नृशंस हमले का विरोध कर रहे हैं। इसके मद्देनजर सोनिया ने कहा कि गुजरात का मामला इस सामाजिक आतंक का मात्र एक उदाहरण है जिसे सरकार नजरअंदाज करती है।
कांग्रेस प्रमुख ने गुजरात में 4 दलितों को पीटे जाने और सार्वजनिक तौर पर बेइज्जत किए जाने की घटना का विशेष हवाला देते हुए सरकार पर दलितों एवं आदिवासियों के अधिकार छीनने का आरोप लगाया।
दलित का विरोध प्रदर्शन अहमदाबाद समेत राज्य के कई हिस्सों में फैल गया है और इस दौरान हिंसात्मक घटनाएं भी हुई हैं जिनमें एक हेडकांस्टेबल पथराव में मारा गया और राज्य परिवहन की बसों पर हमला किया गया। समुदाय के 3 और सदस्यों ने भी आत्महत्या की कथित कोशिश की।
कांग्रेस ने उना मामले की जांच उच्च न्यायालय के किसी वर्तमान न्यायाधीश से कराए जाने की मांग की। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अहमद पटेल ने ट्वीट किया था कि गुजरात में दलितों की रक्षा करने में अधिकारियों की विफलता हैरान कर देने वाली है। क्या यह है गुजरात मॉडल? अब स्वतंत्र जांच कराए जाने की आवश्यकता है। (भाषा)