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इस तरह लगी नोटबंदी के फैसले पर मुहर

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नई दिल्ली , शनिवार, 24 दिसंबर 2016 (13:56 IST)
नोटबंदी को करीब डेढ़ महीना हो गया है, लेकिन लोग आज भी यह अटकलें लगाने में लगे हैं कि आखिर सरकार ने किन हालात में इतना बड़ा फैसला कैसे लिया और पर्दे के पीछे क्या कुछ चल रहा था।
 
आरटीआई के तहत मांगी गई एक जानकारी में खुलासा हुआ है कि 8 नवंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ऐलान से चंद घंटों पहले ही रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने सरकार से इसकी सिफारिश की थी।
 
जानकारी के मुताबिक आरबीआई एक्ट-1934 में केंद्र सरकार को यह अधिकार है कि वह किसी भी नोट को चलन से बंद करने का फैसला ले सके। हालांकि ऐसा करने के लिए आरबीआई की सिफारिश जरूरी है।
 
मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक आरबीआई के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स ने 8 नवंबर को हुई बैठक में नोटबंदी की सिफारिश की थी। बैठक में 10 बोर्ड मेंबर्स में से केवल आठ ही शरीक हुए थे, जिनमें आरबीआई प्रमुख उर्जित पटेल, कंपनी मामलों के सचिव शक्तिकांत दास, आरबीआई के डिप्टी गवर्नर आर गांधी और एसएस मुंद्रा शामिल थे।
 
यहां आरबीआई बोर्ड की बैठक और प्रधानमंत्री के नोटबंदी के बीच सरकार के पास बैंक के आधिकारिक प्रस्ताव पर अमल के लिए कुछ ही घंटों का वक्त था। इसके बाद प्रधानमंत्री मोदी ने कैबिनेट की बैठक में इस फैसले के बारे में उन्हें बताया।

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