नई दिल्ली। दिल्ली उच्च न्यायालय ने मानहानि के मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के वकील राम जेठमलानी द्वारा जिरह के दौरान केंद्रीय मंत्री जेटली के खिलाफ की गई टिप्पणी को अपमानजनक करार दिया।
उच्च न्यायालय के न्यायाधीश मनमोहन ने कहा कि अगर ऐसी टिप्पणियां केजरीवाल के निर्देश पर की गईं हैं तो उन्हें ‘पहले कठघरे में आना चाहिए और जेटली से जिरह से पहले अपने आरोप लगाने चाहिए। न्यायमूर्ति मनमोहन ने कहा कि अगर ऐसे आरोप प्रतिवादी संख्या एक (केजरीवाल) के निर्देश पर लगाए गए हैं तो वादी (जेटली) से जिरह जारी रखने का कोई तुक नहीं है। प्रतिवादी एक को आरोप लगाने दीजिए। उन्हें कठघरे में आने दीजिए।
जेटली के वकील राजीव नायर और संदीप सेठी ने अदालत के समक्ष मुद्दे को उठाया था और कहा था कि वे केजरीवाल की ओर से इस बात का स्पष्टीकरण चाहते हैं कि टिप्पणियां उनके निर्देश पर की गईं थी अथवा जेठमलानी ने अपनी ओर से ही टिप्पणियां की थीं।
गौरतलब है कि जेटली ने केजरीवाल तथा आम आदमी पार्टी के पांच नेताओं के खिलाफ 10 करोड़ की मानहानि का मामला दाखिल किया है। कल जेठमलानी ने संयुक्त रजिस्ट्रार दीपाली शर्मा के सामने जेटली के खिलाफ उस वक्त टिप्पणियां की थी जब उनसे जिरह चल रही थीं। (भाषा)