रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को भारतीय सेना में महत्वाकांक्षी सुधार प्रक्रिया को लागू करने की प्रगति का जायजा लिया। इसके तहत करीब 57,000 अधिकारियों और अन्य रैंक के अफसरों को बल की युद्धक क्षमता बढ़ाने के लिए पुन:तैनात किया जा रहा है।
सरकार ने अगस्त में भारतीय सेना के लिए महत्वाकांक्षी सुधार प्रक्रिया शुरू की थी। यह ले. जनरल (सेवानिवृत्त) डीबी शेकतकर की अध्यक्षता वाली एक समिति की सिफारिशों पर आधारित है, जिसको बल की मुकाबले की क्षमता को बढ़ाने के लिए कदम सुझाने का काम सौंपा गया था।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि निर्मला ने एक उच्चस्तरीय बैठक में सुधार प्रक्रिया को लागू करने की समीक्षा की। इस बैठक में सेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत, चीफ ऑफ एयर स्टाफ एयर चीफ मार्शल बीएस धनोआ और रक्षा मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों ने शिरकत की।
सेना से संबंधित पैनल की 65 सिफारिशों को स्वीकार किया गया है, जबकि सरकार ने तीनों सेनाओं के मुद्दों से संबंधित सुझावों को छोड़ दिया था। बैठक में निर्मला ने पैनल की 34 सिफारिशों को लागू करने के तरीकों पर भी चर्चा की जिनको लागू करने से तीनों सेनाओं पर असर पड़ेगा। समिति की एक प्रमुख सिफारिश तीनों सेनाओं का प्रमुख नियुक्त करने की है, जिस पर सरकार को अभी फैसला करना है। (भाषा)