नई दिल्ली। सरकार ने शुक्रवार को कहा कि चेक के फॉर्मों को हिन्दी तथा अंग्रेजी में छापा जाना चाहिए, वहीं ग्राहक चेकों को हिन्दी, अंग्रेजी या संबंधित क्षेत्रीय भाषा में लिख सकते हैं।
वित्त राज्यमंत्री संतोष कुमार गंगवार ने लोकसभा में विनोद लखमाशी चावड़ा और डीएस राठौड़ के प्रश्न के लिखित उत्तर में कहा कि भारतीय रिजर्व बैंक ने ग्रामीण जनसंख्या को सरलता से समझाने के लिए अन्य बातों के साथ-साथ बैंकिंग क्षेत्र में क्षेत्रीय भाषाओं के प्रयोग को बढ़ावा देने के विभिन्न निर्देश जारी किए हैं।
उन्होंने कहा कि बैंकिंग सुविधाएं जनसंख्या के व्यापक वर्गों तक पहुंचाने के लिए बैंकों को खाता खोलने वाले फॉर्म, जमा पर्ची, पासबुक समेत ग्राहकों द्वारा इस्तेमाल मुद्रित सामग्री को अंग्रेजी, हिन्दी तथा संबंधित क्षेत्रीय भाषा में उपलब्ध कराना चाहिए।
मंत्री ने कहा कि सभी चेक फॉर्मों को हिन्दी तथा अंग्रेजी में मुद्रित किया जाना चाहिए तथापि ग्राहक चेकों को हिन्दी, अंग्रेजी अथवा संबंधित क्षेत्रीय भाषा में लिख सकते हैं। अन्य निर्देशों में गंगवार ने बताया कि सभी पटलों पर अंग्रेजी, हिन्दी के साथ-साथ संबंधित क्षेत्रीय भाषा में संकेत बोर्डों को प्रदर्शन करना शामिल है।
इसमें कहा गया कि ग्राहकों के साथ पत्राचार समेत ग्राहकों के साथ बैंकों द्वारा कारोबार करने में हिन्दी और क्षेत्रीय भाषाओं का उपयोग किया जाएगा। (भाषा)