जम्मू। भारतीय सेना ने दावा किया है कि उसके तोपखानों ने पाक गोलाबारी के जवाब में की गई कार्रवाई में उस पार जबरदस्त तबाही मचाई है। भारतीय सेना का कहना है कि पाक अधिकृत कश्मीर में बड़ी कार्रवाई की है। नौशहरा और उड़ी सेक्टर में जवानों की शहादत के जवाब में सेना ने यह कार्रवाई की। सेना का दावा है कि नीलम घाटी और हाजी-पीर इलाके में बने जैश-ए-मोहम्मद के कई कैंप तबाह किए गए हैं जो पाक सेना की चौकियों के पास ही स्थापित किए गए थे। फिलहाल इन दावों की स्वतंत्र सूत्रों से पुष्टि होना बाकी है।
इस हमले में पाकिस्तानी सेना के 4 जवान भी मारे गए हैं। पाकिस्तानी सेना की कई चौकियां भी हमले में तबाह की गई हैं। उस कश्मीर में एलओसी से सटी इन चौकियों से आतंकियों की घुसपैठ में मदद की जाती थी।अधिकारियों के अनुसार इस साल अभी तक पाकिस्तान ने 2050 बार संघर्ष विराम का उल्लंघन किया है, जिसमें 21 भारतीय मारे गए हैं और कई अन्य घायल हुए हैं। भारत ने लगातार पाकिस्तान से कहा है कि वह अपने बलों से 2003 संघर्ष विराम समझौते का पालन करने और नियंत्रण रेखा तथा अंतरराष्ट्रीय सीमा पर शांति बनाए रखने के लिए कहे।
इस बीच गंदरबल जिले के नारानाग इलाके से सुरक्षाबलों ने दो आतंकवादियों को गिरफ्तार किया है। पकड़े गए आतंकवादियों के पास से भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद भी बरामद हुआ है। सुरक्षाबलों को जानकारी मिली थी कि इलाके में दो आतंकवादी छिपे हुए हैं। जिनकी तलाश में सुरक्षाबलों ने सर्च ऑपरेशन चलाया। इस दौरान सुरक्षाबलों ने दोनों को गिरफ्तार कर लिया। इसके साथ ही भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद भी बरामद किया गया है। आतंकियों से पूछताछ जारी है।
सूत्रों का कहना है कि जिन आतंकियों को गिरफ्तार किया गया है वो अन्य आतंकवादियों के लिए गाइड का काम करते थे। इसके साथ ही वह नारनाग इलाके में आतंकी वारदात को अंजाम देने की फिराक में थे। प्रारंभिक जांच और पूछताछ से पता चलता है कि वे दोनों जम्मू के राजौरी जिले के हैं और आतंकवादी संगठन लश्कर के लिए काम करते हैं।
इन्हें जिले में कोई बड़ी वारदात को अंदाज देने का जिम्मा सौंपा गया है, जिसके बारे में वे पूछताछ के दौरान पता लगाएंगे। सुरक्षाबल दोनों आतंकवादियों के जिंदा पकड़े जाने को बड़ी सफलता मान रहे हैं। उनका कहना है कि इन दोनों से लश्कर से संबंधित कई महत्वपूर्ण जानकारी मिलने की उम्मीद है।
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