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मायावती की वसूली का राज खुला, मेंबरशिप को लेकर नसीमुद्दीन सिद्दीकी का नया खुलासा

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लखनऊ , शनिवार, 13 मई 2017 (10:04 IST)
बहुजन समाज पार्टी से बाहर निकाले गए नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने पार्टी सुप्रीमो मायावती के खिलाफ पोलखोल अभियान छेड़ रखा है। दूसरी ओर उन्होंने योगी आदित्यनाथ से अपनी सुरक्षा की गुहार भी लगाई है। ताजा मामले में उन्होंने मेंबरशिप को लेकर कहा कि इसके लिए क्या कुछ नहीं होता है यह मैं नहीं बता सकता। अब बीएसपी के सदस्यता के तौरतरीके को मायावती का वसूली मॉडल बताया जा रहा है।
 
नया ऑडियो टेप : उन्होंने कहा कि मायावती ने नेताओं से मेंबरशिप के नाम पर लिखवा ली संपत्तियां। मैंने मेंबरशिप का पूरा पैसा भरा है। नसीमुद्दीन ने मेंबरशिप की रकम हड़पने के आरोप पर बसपा कार्यालय प्रभारी का ऑडियो जारी कर नया खुलासा किया है। बसपा से बर्खास्त नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने मायावती को देश का सबसे बड़ा ब्लैकमेलर करार दिया है। मायावती द्वारा खुद को टैपिंग ब्लैकमेलर कहने से नाराज नसीमुद्दीन ने शुक्रवार को नया आरोप लगाया कि वे मेंबरशिप के नाम पर पार्टी नेताओं की संपत्तियां तक लिखवा लेती हैं। उन्होंने कुछ लोगों को सामने करके प्रमाण देने की कोशिश भी की। साथ ही मायावती के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने को लेकर कानूनी सलाह लेने की बात भी कही।
 
नसीमुद्दीन द्वारा जारी नए ऑडियो में कार्यालय प्रभारी उनसे बबलू राठ से पैसा वापस दिलाने में मदद मांग रहे हैं। बबलू राठ मूलरूप से हमीरपुर के राठ इलाके का रहने वाला है। बसपा सरकार के कार्यकाल में हुए स्मारक घोटाले का आरोपी भी है। उसकी फर्म प्रगति मार्बल के खिलाफ विजिलेंस की जांच अभी जारी है। सूत्रों की माने तो बबलू राठ पर कई आपराधिक मुकदमे भी दर्ज हैं। हालिया विधानसभा चुनाव में मायावती ने उसके पिता को राठ से टिकट भी दिया था। वहीं ऑडियो सुनने से साफ पता चल रहा है कि बसपा कार्यालय में नसीमुद्दीन का कोई बकाया नहीं बाकी है। इस बारे में कार्यालय प्रभारी स्पष्ट रूप से बोल रहे हैं।
 
मायावती द्वारा मेंबरशिप का पैसा हड़पने के आरोप पर सफाई देते हुए नसीमुद्दीन ने शुक्रवार को फिर एक कॉल रिकॉर्डिग सुनाई जिसमें बसपा प्रदेश कार्यालय प्रभारी रामअवतार मित्तल उन पर कोई बकाया नहीं होने की बात कह रहे हैं। उन्होंने कहा कि पार्टी के हजारों लोग यह हलफनामा देने को तैयार हैं कि मायावती ने मेंबरशिप के नाम र उनसे लाखों रुपए, संपत्तियां आदि ले ली। वहीं, मायावती द्वारा यह कहे जाने पर कि कांशीराम ने उन्हें नसीमुद्दीन से सावधान रहने को कहा था, के जवाब में उन्होंने कहा कि यदि ऐसा था तो कांशीराम के मरने के बाद उन्हें मायावती ने प्रांतीय सचिव से राष्ट्रीय महासचिव क्यों बना दिया। बसपा सरकार में उन्हें 18 अहम विभाग क्यों सौंपे गए। वहीं, सतीश चंद्र मिश्रा पर भी हमला बोलते हुए कहा कि जिसने पार्टी को बर्बाद कर दिया, वे उसके नाम के कसीदे पढ़ रही हैं। जिसने कांशीराम का मिशन चौपट किया वे खुद को उसकी बहन बताती हैं। उन्होंने कहा कि बसपा अब वेंटिलेटर पर है और आखिरी सांस ले रही है।
 
खुद को टैपिंग ब्लैमेलर कहे जाने पर नसीमुद्दीन ने कहा कि यह ट्रिक तो मैंने मायावती से ही सीखी है। मैंने उन्हीं के शस्त्र का इस्तेमाल उनके ऊपर कर दिया। मैंने अपने परिवार को बचाने के लिए ऐसा किया वरना वे मुझसे सादे कागज, स्टांप पेपर पर साइन कराकर मुझे दिवालिया करके सड़क पर भटकने को मजबूर कर देतीं। जब मैंने उनके फोन टेप कर लिए तो वे तिलमिला उठी। कल मैंने जो ऑडियो जारी किए उनमें कौन किसे ब्लैकमेल कर रहा है, ये सबको पता चल गया है। अगर उनके चेलों के पास मेरे द्वारा ब्लैकमेलिंग का कोई टेप हैं तो सामने लाएं। वहीं ऑडियो में कांट- छांट किए जाने के आरोप पर बोले कि चाहे जिस एजेंसी से इसकी जांच करा ली जाए। यदि इसमें कांट- छांट की गयी है तो जो सजा चोर की हो, वह मुझे मंजूर है। वहीं जब मुझे पार्टी से निकाला गया तो सतीश चंद्र मिश्रा ने मुझपर ब्लैकमेलिंग का आरोप क्यों नहीं लगाया। मेरे द्वारा टेप सार्वजनिक किए जाने के बाद मैं ब्लैकमेलर हो गया।
 
कोई बेटी ना होने की बात कहे जाने से आहत नसीमुद्दीन ने भावुक अंदाज में कहा कि वे क्या जाने कि बेटा- बेटी क्या होते हैं, ममता क्या होती है। मैंने अपनी बेटी खोई है। आज भी वह डाक्टर जिंदा है जिसके हाथों से उसका जन्म हुआ था। बांदा के तमाम लोग मायावती के इस बयान के बाद हलफनामा देने के लिए मुझे फोन कर रहे हैं कि मेरी एक बेटी भी थी। कहा कि मैं मायावती के बारे में बहुत सी ऐसी बातें जानता हूं जिन्हें मैं अभी नहीं बताऊंगा। वहीं मायावती को ललकारते हुए बोले कि मेरी वजह से वह लगातार हारने के बाद एमएलए और एमपी के चुनाव जीत सकीं क्योंकि कांशीराम ने मुझे उनका चुनाव प्रभारी बना दिया था। मैं चुनौती देता हूं कि अब वे नगर निगम और नगर पालिका का वार्ड स्तर का चुनाव भी जीतकर दिखा दें।
 
बीएसपी का वसूली कोडवर्ड किताब : मायावती पर सदस्यता के नाम पर जिस वसूली मॉडल का आरोप लगा रहे थे, उसे अब मायावती के पुराने करीबियों ने सरेआम कर दिया है। बीएसपी के पूर्व नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा है, 'किताब का मतलब एक लाख से एक करोड़ तक होता है। किताब बीएसपी का एक कोडवर्ड है।'
 
दावा है कि बीएसपी का सदस्य बनने के लिए मेंबरशिप कूपन खरीदना पड़ता है। 18 साल से ऊपर का कोई भी शख्स मेंबर बन सकता है। चुनाव आयोग के सामने 20 साल से बीएसपी यही बता रही है कि उसने हमेशा इन्हीं कूपनों के जरिए सदस्य बनाए हैं। बीएसपी 50 रुपए के कूपन के जरिए सदस्य बनाने का दावा करती है। बीएसपी का दावा है कि इन्हीं कूपन के जरिए फंड इकट्ठा करती है।
 
पिछले बीस साल में उसे कभी बीस हजार से एक रुपए भी ज्यादा का चंदा नहीं मिला। लेकिन खुलासों के बाद हकीकत कुछ और नजर आ रही है। मायावती ने नसीमुद्दीन सिद्दीकी को बाहर करने की वजह यही किताब जमा न करना बताया तो सिद्दीकी ने कल एक और ऑडियो टेप जारी कर इसे खारिज कर दिया।
 
नसीमुद्दीन को मिलेगी सुरक्षा : मुख्यमंत्री योगी ने कानून व्यवस्था के मुद्दे पर कहा, आदत धीरे-धीरे बदलती है, जो नहीं बदल रहे हैं उन्हे सुधार दिया जाएगा, साथ ही नसीमुद्दीन सिद्दीकी के मुद्दे पर कहा कि सूबे का जो भी व्यक्ति सुरक्षा मांगेगा उसे सुरक्षा प्रदान की जाएगी, वो किसी राजनीतिक दल के आपसी मुद्दे पर नहीं पड़ेंगे, साथ ही कहा कि जो विवाद आज मायावती और नसीमुद्दीन सिद्दीकी के बीच हुआ है उससे कांशीरामजी के आत्मा को दुख पहुंचा होगा।
 
बीएसपी प्रमुख मायावती के खिलाफ गुरुवार को कई ऑडियो टेप जारी कर सनसनी मचाने वाले पार्टी से निष्कासित नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने शुक्रवार को आरोप लगाया कि मायावती उनकी हत्या करवा सकती हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से इस मामले में संज्ञान लेने की अपील की। मायावती द्वारा खुद को ब्लैकमेलर बताने पर सिद्दीकी ने कहा कि उन्होंने बीएसपी प्रमुख का नुस्खा ही उनपर आजमाया और उनका फोन टैप किया। सिद्दीकी ने कहा कि अपने बीवी-बच्चे को बचाने के लिए उन्होंने ऐसा किया। 

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