नई दिल्ली। दिल्ली नगर निगम (MCD) की स्थायी समिति के 6 सदस्यों का चुनाव बुधवार को सदन में भारी शोर-शराबे के कारण नहीं हो पाया। महापौर के निर्वाचन के बाद स्थायी समिति के सदस्यों के चुनाव का ड्रामा रातभर चला। AAP-BJP पार्षदों के बीच हाथापाई हुई, पार्षदों ने एक-दूसरे पर बोतलें फेंकी। इसके बाद भी फैसला नहीं सका। उल्लेखनीय है कि आप की शैली ओबरॉय को महापौर और आप के ही आले मोहम्मद इकबाल के उपमहापौर निर्वाचित किया गया। शैली सिर्फ 38 दिन ही दिल्ली की महापौर रह सकेंगी।
आम आदमी पार्टी (आप) की शैली ओबरॉय के महापौर और आप के ही आले मोहम्मद इकबाल के उपमहापौर निर्वाचित होने के बाद सदन की कार्यवाही एक घंटे के लिए स्थगित कर दी थी। जब एक घंटे बाद कार्यवाही शुरू नहीं हुई तब भाजपा पार्षद शिखा राय ने निगम सचिव से देरी की शिकायत की।
बैठक शाम करीब सवा छह बजे फिर शुरू हुई और स्थायी समिति के छह सदस्यों के चुनाव की प्रक्रिया शुरू हुई। जब महापौर ने मतदान क्षेत्र में मोबाइल फोन ले जाने की अनुमति दी जब भाजपा सदस्यों ने विरोध किया। उनमें कई आसन के समीप आ गये और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के खिलाफ नारे लगाने लगे।
नवनिर्वाचित महापौर ने कहा, 'जो सदन में व्यवस्था नहीं बनाये रखेंगे, उन्हें सदन से बाहर कर दिया जाएगा।' महापौर ने करीब छह बजकर 35 मिनट पर सदन स्थगित कर दिया लेकिन तबतक कई सदस्य मतदान कर चुके थे। सात बजकर 40 मिनट पर महापौर ने सदस्यों से कहा कि जिनके पास मतपत्र हैं वे लौट आयें और तभी वह निर्णय लेंगी।
तब भाजपा सदस्य तानाशाही नहीं चलेगी नारा लगाने लगे। भाजपा सदस्यों का एक समूह आसन के पास चला गया और एक सदन में दो कानून, नहीं चलेंगे नारा लगाने लगे।