नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नमो ऐप पर एक सर्वे के माध्यम से 5 चुनावी राज्यों की जनता से उम्मीदवारों के चयन से लेकर विभिन्न मुद्दों पर राय मांगी है। उत्तरप्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, गोवा और मणिपुर में अगले साल की शुरुआत में विधानसभा चुनाव होने हैं।
सर्वे में इन राज्यों की जनता से राज्य सरकार के प्रदर्शन का नंबर देकर आकलन करने, उनके विधानसभा क्षेत्र में विपक्षी दलों की कोई संभावित एकता, स्थानीय विधायक सहित अन्य मुद्दों पर विचार मांगे गए हैं।
प्रधानमंत्री ने ऐसा ही सर्वेक्षण नोटबंदी को लेकर किया था जब 500 और 1000 रुपए के पुराने नोटों का चलन बंद करने की घोषणा की गई थी। साल 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले भी इस तरह का सर्वेक्षण किया गया था। सोशल मीडिया के माध्यम से प्रधानमंत्री समय-समय पर लोगों से अक्सर राय लिया करते हैं।
इस सर्वे में लोगों से पूछा गया है कि जब वे मतदान करने जाएंगे तो वे सरकार के कोविड-19 के प्रबंधन, महंगाई, भ्रष्टाचार, बेरोजगारी, शिक्षा और कानून व व्यवस्था में से किस मुद्दे को तरजीह देंगे। जनता से पूछे गए सवालों में प्रधानमंत्री मोदी का देश में नेतृत्व, राज्य स्तरीय और स्थानीय मुद्दों का भी विकल्प दिया गया है।
आधिकारिक सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक सर्वे में लोग चाहें तो विभिन्न मुद्दों पर अपनी राय से सीधे भी प्रधानमंत्री को अवगत करा सकते हैं। सर्वे में लोगों से राज्य सरकार की योजनाओं, उनसे मिल रहे लाभों के बारे में भी लिखने को कहा गया है। साथ ही यह भी पूछा गया है कि क्या राज्य व केंद्र में एक ही पार्टी की सरकार होने से विकास की गति तेज होती है या नहीं।
इस सर्वे के माध्यम से कोविड-19 टीकाकरण की स्थिति को लेकर भी जनता से राय मांगी गई है। इसके अलावा राज्य के तीन सबसे अधिक लोकप्रिय नेताओं के नाम भी मांगे गए हैं। एक सवाल यह भी पूछा गया है कि वह उम्मीदवार की जाति, उसके धर्म या फिर उसके काम के रिकॉर्ड को वरीयता देंगे। जिन 5 राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं, उनमें पंजाब को छोड़कर सभी जगह भाजपा का शासन है।