अंबाला/चंडीगढ़। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने सोमवार को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पर निशाना साधते हुए इसके स्वयंसेवकों को '21वीं सदी के कौरव' करार दिया और आरोप लगाया कि ये कभी 'हर-हर महादेव' और 'जय सियाराम' नहीं कहते, क्योंकि वे लोग भारतीय मूल्यों और तपस्या के विरुद्ध हैं। उन्होंने 'भारत जोड़ो यात्रा' के दौरान आरएसएस तथा सरकार पर निशाना साधा।
राहुल गांधी के नेतृत्व चल रही 'भारत जोड़ो यात्रा' सोमवार शाम को अंबाला जिले में पहुंची। यहां पहुंचने के बाद एक नुक्कड़ सभा को संबोधित करते हुए कांग्रेस नेता ने कहा कि हरियाणा महाभारत की भूमि है। उन्होंने इस दौरान आरएसएस तथा सरकार पर निशाना साधा।
उन्होंने आरएसएस का परोक्ष जिक्र करते हुए कहा कि कौरव कौन थे? पहले मैं आपको 21वीं सदी के कौरवों के बारे में बताऊंगा। वे खाकी निकर पहनते हैं, हाथ में लाठी लेकर चलते हैं और शाखाएं लगाते हैं। भारत के 2-3 सबसे अमीर अरबपति इन कौरवों के साथ खड़े हैं।
उन्होंने कहा कि आरएसएस के लोग कभी 'हर-हर महादेव' नहीं बोलते। मैंने इस बारे में सोचा, क्योंकि भगवान शिव तपस्वी थे और वे (आरएसएस) भारत की तपस्या पर हमला कर रहे हैं इसलिए वे 'हर-हर महादेव' नहीं कह सकते।
राहुल ने कहा कि वे कभी 'जय सियाराम' नहीं कहते। उन्होंने इसमें से सीताजी को निकाल दिया है। उन्होंने हमारे इतिहास और मूल्यों के खिलाफ काम किया है। और जब कोई कांग्रेस कार्यकर्ता किसी आरएसएस कार्यकर्ता से मिले तो उसे जय सिया राम कहना चाहिए, क्योंकि सीता भी राम की तरह स्थान रखती हैं।
उन्होंने कहा कि लोग यह नहीं समझते, लेकिन उस समय जैसा युद्ध हुआ था, वैसा ही आज है। यह किसके बीच है? पांडव कौन थे? अर्जुन, भीम- वे तपस्या करते थे। कांग्रेस नेता ने कहा कि क्या लोगों ने कभी इस धरती पर पांडवों के नफरत फैलाने और बेगुनाहों के खिलाफ कभी कोई अपराध करने के बारे में सुना है?
उन्होंने कहा कि एक तरफ ये 5 तपस्वी थे और दूसरी तरफ एक भीड़। पांडवों के साथ सभी धर्मों के लोग थे। इस (भारत जोड़ो) यात्रा की तरह ही जिसमें कोई किसी से नहीं पूछता कि कहां से आए हो? यह मोहब्बत की दुकान है। पांडव अन्याय के खिलाफ खड़े रहे, उन्होंने भी नफरत के बाजार में मोहब्बत की दुकान खोली थी।
महाभारत का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि क्या उस समय के धनवान पांडवों के साथ थे? अगर ऐसा होता तो पांडवों को जंगलों में क्यों घूमना पड़ता? पांडवों को घरों से बाहर क्यों निकाला गया, क्योंकि उनके साथ अमीर लोग नहीं थे लेकिन इस देश के किसान, गरीब, छोटे दुकानदार उनके साथ खड़े थे। यह तपस्वियों का देश है।
राहुल ने कहा कि नोटबंदी, गलत जीएसटी किसने लागू की? कृषि कानून कौन लाया? प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इन फैसलों पर हस्ताक्षर किए, लेकिन भारत के 2-3 अरबपतियों की ताकत इसके पीछे थी। आप मानें या नहीं मानें।(भाषा)
Edited by: Ravindra Gupta