नई दिल्ली। देश की प्रतिष्ठित प्रतिष्ठित जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU) में रविवार देर शाम एक बार फिर बवाल होने की खबर से राजधानी सनसनी फैल गई है। चेहरे पर नकाब बांधे 50 गुंडो ने जेएनयू के साबरमती गर्ल्स होस्टल के अंदर छात्रों और शिक्षकों पर हमला कर दिया। इस अप्रत्याशित हमले में 18 छात्रों को गंभीर रूप से घायल हुए हैं जिनका उपचार एम्स में हो रहा है। जेएनयू में 11 छात्र लापता बताए जाते हैं।
नकाबपोश हमलावरों ने जेएनयू छात्रसंघ की अध्यक्ष आइशी घोष को बुरी तरह घायल कर दिया। यह हमला शाम लगभग साढ़े 6 बजे हुआ। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, करीब 50 चेहरे पर नकाब डाले गुंडे जेएनयू कैंपस में घुस गए और उन्होंने छात्रों पर हमला करना शुरू कर दिया।
इन गुंडों ने जेएन परिसर में कारों को भी निशाना बनाया और होस्टल में भी तोड़फोड़ की। जेएनयू के प्रोफेसर अतुल सूद के अनुसार इन हमलावरों ने होस्टल पर पत्थरबाजी की और यूनिवर्सिटी की संपत्ति को भी नुकसान पहुंचाया।
फीस बढ़ोतरी के खिलाफ 3 जनवरी से प्रदर्शन : जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी में फीस बढ़ने का 3 जनवरी से विरोध प्रदर्शन चल रहा है। रविवार को भी छात्र फीस बढ़ने की खिलाफत कर रहे थे। शाम को साबरमती गर्ल्स हॉस्टल से एक मार्च निकाला जाना था। इसी बीच दोनों गुटों में झड़प हो गई। जेएनयू छात्र संघ ने एबीवीपी और यूनिवर्सिटी प्रबंधन पर इस घटना में शामिल होने का आरोप लगाया है।
छात्रसंघ की अध्यक्ष आइशी घोष की भी बुरी तरह से पिटाई गई। इस हमले में उनके सिर पर गहरी चोट आई है। वायरल हो रहे वीडियो में दिख रहा है कि 50 से ज्यादा की संख्या में लोग नकाब बांधकर कैंपस में घूमते दिख रहे हैं, जिनके हाथों में हॉकी स्टीक, रॉड और बल्ला दिखाई दे रहा है।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट कर मामले पर हैरानी जताई। केजरीवाल ने ट्वीट किया, जेएनयू में हुई हिंसा की खबर सुनकर हैरान हूं। छात्रों पर बेरहमी से हमला किया गया। पुलिस को तत्काल हस्तक्षेप करना चाहिए। अगर हमारे छात्र यूनिवर्सिटी कैंपस के अंदर ही सुरक्षित नहीं रहेंगे तो देश कैसे आगे बढ़ेगा?
जेएनयूटीए के सचिव सुरजीत मजूमदार ने कहा कि हम विश्वविद्यालय प्रशासन और कुलपति को इस हालात के लिए जिम्मेदार मानते हैं। आज होस्टल के अंदर कोई भी सुरक्षित नहीं है। कई शिक्षक भी गंभीर रूप से घायल हैं। मैं बस इतना कहना चाहता हूं कि जिस तरह से कुलपति इस विश्वविद्यालय को चला रहे हैं उससे हालात बद से बदतर होते जा रहे हैं।
गुंडों ने गर्ल्स होस्टल में कहर बरपाया। कई लड़कियों की पिटाई हुई। इसी बीच योगेंद्र यादव यहां पहुंच गए, जिनके साथ धक्कामुक्की भी हुई। पुलिस ने जेएनयू के गेट बंद कर दिए हैं। कैंपस के भीतर भी पुलिस मौजूद है।
पुलिस का फ्लेग मार्च, 15 एंबुलेंस तैयार : जेएनयू में हुई जंग के बाद पुलिस ने कैंपस में फ्लेगमार्च किया और फिलहाल यहां स्थिति नियंत्रण में हैं। गर्ल्स हॉस्टल के बाहर पुलिस ने सुरक्षा बढ़ा दी है। इसी बीच यह भी खबर मिली है कि जेएनयू के बाहर 15 एंबुलेंस तैयार हैं। संभवत: ये एम्बुलेंस घायलों के लिए अलर्ट पर हैं।
जेएनयू के छात्रों ने पुलिस हेडक्वार्टर घेरा : जेएनयू में हुई गुंडागर्दी के खिलाफ पुलिस की लापरवाही को लेकर सैकड़ों छात्रों ने पुलिस हेडक्वार्टर को घेर लिया है। यहां पर छात्रों की संख्या बढ़ती ही जा रही है। ये छात्र पुलिस के खिलाफ नारेबाजी कर रहे हैं।
जेएनयू में झगड़ा : पता चला है कि जेएनयू कैंपस में 2 गुटों में मारपीट हुई थी। जेएनयू प्रशासन ने शांति और सद्भावना बनाए रखने के लिए एक बैठक रखी थी। यह बैठक शाम साढ़े 4 बजे रखी गई थी। बैठक की समाप्ति के बाद अचानक बड़ी संख्या में गुंडे भीतर आ गए और उन्होंने जानलेवा हमला बोल दिया।
अमित शाह ने घटना की जानकारी ली : केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने जेएनयू की घटना के बारे में दिल्ली के पुलिस कमिश्नर से बात करके पूरी जानकारी ली। शाह ने आईजी स्तर के पुलिस अधिकारी को तुरंत पूरे मामले की रिपोर्ट देने को कहा है।
एम्स पहुंची प्रियंका, घायल छात्रों से मुलाकात की : कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा हिंसा में घायल छात्रों से मुलाकात करने के लिए एम्स पहुंचीं। उन्होंने कहा कि यह किसी सरकार के बारे में बेहद ही शर्मनाक है कि उसने अपने ही बच्चों पर हिंसा होने दी। कई घायल छात्रों के हाथ पैर टूटे हैं, और उनके सिर पर चोटें हैं।
प्रियंका ने कहा कि ‘मोदी-शाह के गुंडे’ हमारे विश्वविद्यालयों में उपद्रव कर रहे हैं, हमारे बच्चों में भय फैला रहे हैं। भाजपा नेता मीडिया में ऐसा दिखा रहे हैं कि जेएनयू में हिंसा करने वाले उनके गुंडे नहीं थे।
सोशल मीडिया पर राहुल गांधी का ट्वीट : कांग्रेस नेता राहुल ने ट्वीट किया कि नकाबपोश द्वारा जेएनयू के छात्रों और शिक्षकों पर किया गया क्रूर हमला, जिसमें कई गंभीर रूप से घायल हो गए, चौंकाने वाला है। हमारे राष्ट्र के नियंत्रण में फासीवादी, हमारे बहादुर छात्रों की आवाज़ से डरते हैं। जेएनयू में आज की हिंसा उसी डर का प्रतिबिंब है।
ज्याइंट कमिश्नर करेंगी जांच : गृहमंत्री अमित शाह के निर्देश पर दिल्ली पुलिस की ज्याइंट कमिश्नर शालिनी सिंह जेएनयू में हुई हिंसा की जांच करने के लिए सौंपा गया है। वे पूरी रिपोर्ट गृहमंत्री को देंगी।