Kolkata rape murder case : सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को कोलकाता में डॉक्टर के साथ दुष्कर्म-हत्या मामले से जुड़ी याचिका पर सुनवाई करते हुए बंगाल सरकार और पुलिस को कड़ी फटकार लगाई। शीर्ष अदालत ने मामले में CBI से स्टेट्स रिपोर्ट मांगी। अदालत ने आरजी कर अस्पताल की सुरक्षा सीआईएसएफ को सौंपने के आदेश दिए। मामले पर अगली सुनवाई गुरुवार को होगी।
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शीर्ष अदालत ने बंगाल सरकार और पुलिस से कड़े सवाल करते हुए मामले पर कड़ी चिंता जताई। उच्चतम न्यायालय ने कोलकाता पुलिस को फटकार लगाते हुए पूछा कि हजारों लोगों की भीड़ आरजी कर मेडिकल कॉलेज में कैसे घुसी?
अदालत ने कहा कि सरकारी अस्पतालों में सुरक्षा बेहद कमजोर है। यह डॉक्टरों की सुरक्षा का सवाल है। ज्यादातर युवा चिकित्सक 36 घंटे काम करते हैं, हमें काम करने की सुरक्षित स्थितियां सुनिश्चित करने के लिए राष्ट्रीय प्रोटोकॉल बनाने की जरूरत है। पीठ ने डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए नेशनल टास्क फोर्स के गठन का आदेश दिया और डॉक्टरों से भी हड़ताल खत्म करने की अपील की।
उच्चतम न्यायालय ने कहा कि अगर महिलाएं काम पर नहीं जा पा रही हैं और काम करने की स्थितियां सुरक्षित नहीं हैं तो हम उन्हें समानता से वंचित कर रहे हैं। अदालत ने मीडिया में मृतका का नाम प्रकाशित होने पर भी चिंता जताई।
अस्पताल के चेस्ट विभाग में 9 अगस्त को सेमीनार हॉल के भीतर चिकित्सक का शव पाया गया था जिस पर गंभीर चोटों के निशान थे। कोलकाता पुलिस ने इस घटना के संबंध में अगले दिन एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया।
कलकत्ता उच्च न्यायालय ने 13 अगस्त को इस मामले की जांच कोलकाता पुलिस से सीबीआई को सौंपने का आदेश दिया और सीबीआई ने 14 अगस्त को जांच शुरू कर दी।
उच्च न्यायालय ने मृतका के माता-पिता की याचिका समेत कई याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए इस मामले की जांच सीबीआई को सौंपी। मृतका के माता-पिता ने अदालत की निगरानी में जांच कराने का अनुरोध किया था।
Edited by : Nrapendra Gupta